नई दिल्ली: कोरोना संक्रमण को लेकर सुप्रीम कोर्ट में दायर की गई याचिका पर सुनवाई चल रही है। इस बीच केंद्र सरकार ने कोर्ट में दावा किया है कि वो साल के अंत यानिकी दिसंबर माह तक 18 ऊपर वाले लोगों का वैक्सीनेशन का काम पूरा कर लिया जाएगा। सरकार ने कोर्ट को ये भी बताया कि जनवरी से अब तक 5 फीसदी लोगों को ही वैक्सीन की दोनों डोज मिल सकी है। हालांकि, कई एक्सपर्ट का दावा है कि अब तक की जो रफ्तार है उसके हिसाब से इस साल के आखिर तक 35 से 40 फीसदी आबादी को ही वैक्सीन दी जा सकेगी।
सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र से पूछा कि विदेशों से कोविड रोधी टीकों की खरीद के लिए कई राज्य ग्लोबल टेंडर जारी कर रहे हैं, क्या यह सरकार की नीति है? केंद्र ने बताया कि टीकों के लिहाज से पात्र संपूर्ण आबादी का 2021 के अंत तक टीकाकरण किया जाएगा। केंद्र की फाइजर जैसी कंपनियों से बात चल रही है। अगर यह बातचीत सफल रहती है तो साल के अंत तक टीकाकरण पूरा करने की समय-सीमा भी बदल जाएगी।
सुनवाई के दौरान कोर्ट ने कोविन ऐप पर रजिस्ट्रेशन करवाने पर केंद्र से सवाल किया। कोर्ट ने कहा कि ग्रामीण इलाकों के लोगों को इसमें परेशानी होगी। नीति निर्माता जमीनी हालात से अवगत रहें, एक डिजिटल विभाजन नजर आ रहा है। इस दौरान केंद्र सरकार ने जबाव देते हुए कहा कि, ‘केंद्र को देखना चाहिए कि देशभर में क्या कुछ हो रहा है और उसी के मुताबिक नीति में बदलाव करने चाहिए।’
क्या सरकार पूरा कर पाएगी वादा?
हालांकि देखने वाली बात ये है कि सरकार साल के अंत तक 18 से ऊपर वालों को वैक्सीनेशन कर पाती है या नहीं। क्योंकि अभी जो रफ्तार चल रही है वह काफी धीमी है। क्योंकि जो वैक्सीन अप्रैल के महीने में 20 से 25 लाख लोगों को रोजाना लगाई जा रही थी। अब उसमें कमी देखने को मिल रही है। स्वास्थ्य मंत्रालय जो आंकड़े पेश करता है उसके मुताबिक मई के महीने में प्रतिदिन 15 लाख के करीब लोगों को वैक्सीन लग रही है।