शिवनंदन सिंह संवाददाता
काबुल: मसूद अजहर की अफगानिस्तान में मौजूदगी वाले दावे पर पाकिस्तान और तालिबान इन दिनों आमने-सामने आ गए है। तालिबान ने साफ शब्दों में पाकिस्तान को चेतावनी देते हुए कहा है कि मसूद अजहर अफगानिस्तान में नहीं है। तालिबान ने कहा कि बिना किसी सबूत के ऐसे झूठे दावे करने से हमारे द्विपक्षीय संबंधों पर नकारात्मक असर पड़ सकता है। तालिबान ने यह सलाह दी हैं कि हम अफगानिस्तान की जमीन का इस्तेमाल किसी भी कीमत पर किसी दूसरे देश के खिलाफ नहीं होने देंगे। दरअसल, पाकिस्तान ने चिट्ठी लिखकर दावा किया था कि मसूद अजहर अफगानिस्तान में ही छिपा हुआ है। ऐसे में उसकी गिरफ्तारी को लेकर तालिबान सरकार को हमारा सहयोग करने की बात कही गई थी।
सीएनएन न्यूज 18 को दिए इंटरव्यू में तालिबान के प्रवक्ता सुहैल शाहीन ने अफगानिस्तान में आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद के प्रमुख मौलाना मसूद अजहर की मौजूदगी से इनकार किया। सुहैल शाहीन ने पाकिस्तान को बिना सबूत के दावा न करने की चेतावनी दी। पाकिस्तान की इस चिट्ठी पर भारतीय रक्षा विशेषज्ञों का मानना है कि यह एक दिखावा है, क्योंकि इसका मकसद एक ब्रांडिंग करना है। मसूद अजहर के खिलाफ कार्रवाई कर पाकिस्तान एफएटीएफ के ग्रे लिस्ट से खुद को बाहर निकालना चाहता है। मसूद अजहर संयुक्त राष्ट्र से घोषिठ अंतरराष्ट्रीय आतंकवादी है। इसे भारत में वोस्ट वांटेड भी घोषित किया गया है।
लखीमपुर में दो दलित बहनों की हत्या मामले में पुलिस ने 6 लोगों को किया गिरफ्तार
शाहीन ने कहा कि हमारी प्रतिबद्धता है कि हम किसी को भी किसी अन्य देश के खिलाफ अफगानिस्तान की धरती का इस्तेमाल नहीं करने देंगे। हम पाकिस्तान को साफ शब्दों में कह देते हैं कि वह बिना किसी सबूत के कोई दावा न करे क्योंकि इससे द्विपक्षीय संबंधों पर नकारात्मक प्रभाव पड़ता है। बिना किसी सबूत के दावे किसी उद्देश्य की पूर्ति नहीं करते…हमारे पास अजहर की मौजूदगी का कोई सबूत नहीं है। उन्होंने यह भी कहा कि हम निश्चित रूप से उसकी तलाश करेंगे। ऐसा हम अपनी संतुष्टि के लिए करेंगे, लेकिन वह यहां नहीं है। मैं स्पष्ट रूप से इनकार करता हूं और कहता हूं कि अफगानिस्तान किसी अन्य देश के खिलाफ इस्तेमाल की जाने वाली जगह नहीं है।
समाजवादी पार्टी पर भाजपा का हमला, कहा- अपनी पार्टी को संभाल नहीं पा रहे हैं अखिलेश