कानपुर। कोरोना के संकट से अभी भारत ऊबर नहीं पाया है कि ब्लैक फंगस ने भी अपने पैर तेजी से पसारने शुरू कर दिए हैं। ब्लैक फंगस उन लोगों को जल्दी अपनी चपेट में ले रहा है जो कोरोना से स्वस्थ हो चुके हैं। हाल ही में ब्लैक फंगस की चपेट में आने से आईआईटी के पीएचडी स्कॉलर छात्र की जान चली गई है।
दरअसल, पीएचडी छात्र ब्लैक फंगस का शिकार हो गया था। फंगस की वजह से नाक और आंख पूरी तरह से संक्रमित हो चुकी थी। सर्जरी करके आंख बाहर निकालने के बाद भी छात्र को नहीं बचाया जा सका। फंगस का संक्रमण ब्रेन तक पहुंच चुका था।
वहीं फंगस की ही चपेट में आने से हैलट अस्पताल में भर्ती एक टीचर की भी मौत हो गई। टीचर को कोरोना के अलावा ब्लैक फंगल का भी संक्रमण था। बता दे कि पीएचडी छात्र कवींद्र की पिछले साल शादी हुई थी। डॉक्टरों ने बचाने का बहुत प्रयास किया लेकिन मंगलवार को कवींद्र ने दम तोड़ दिया।
We did everything to save him including arranging medicines through a board member (an IITK alumnus) of a pharma company but despite best effort by his doctors, family, friends and the Institute, he could not be saved.
— Abhay Karandikar (@karandi65) May 25, 2021
वहीं इस पूरे मामले पर आईआईटी कानपुर के डॉयरेक्टर प्रोफेसर अभय करदींकर ने ट्वीट कर कवींद्र के निधन पर शोक व्यक्त किया है। उन्होंने ट्वीट करते हुए लिखा कि इलाज का पूरा प्रयास किया गया लेकिन फिर भी कवींद्र की जान नहीं बच पाई।