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Good News: सात समंदर पर उत्तरी अफ्रीका से जिम कॉर्बेट आया इजिप्शियन वल्चर

इजिप्शियन वल्चर

कोविड कर्फ्यू के दौरान एक बार फिर प्रकृति खुल कर सांस ले रही है। वहीं वन्य जीवों और पशु पक्षियों के लिए वातावरण अनुकूल हो गया है।

गर्मियां शुरू होते ही उत्तरी अफ्रीका व अन्य जगहों से कॉर्बेट पार्क के ढिकाला में प्रवास पर आने वाली इजिप्शियन वल्चर (गिद्ध) ने अपना दायरा बढ़या है। इस बार इजिप्शियन वल्चर कॉर्बेट के झिरना जोन में देखा गया है।

ढिकाला में दिखता था पहले

इससे पहले ये अद्भुत अफ्रीकी गिद्ध ढिकाला में दिखाई देता था। इस बार इस गिद्ध को झिरना जोन में देखा गया है। जिसके बाद प्रशासन ने निगरानी बढ़ा दी है। बता दें कि जिम कॉर्बेट पार्क में करीब 600 प्रजाति के पक्षी पाए जाते हैं। ढिकाला की रामगंगा, कोसी, तुमड़यिा डैम, कालागढ़ डैम में पक्षियों की चहचहाट पर्यटकों को बेहद आकर्षित करती है।

शुभ संकेत है इजिप्शियन का दिखना

जिम कॉर्बेट आने वाले विदेशी सैलानियों की ढिकाला पसंदीदा जगह है। सैलानी इन अनमोल पक्षियों का दीदार करने के लिए कई दिनों तक पार्क में बने गेस्ट हाउस में रुकते हैं। इजिप्शियन वल्चर का झिरना में दिखना बेहतर संकेत माना जा रहा है। मौजूदा समय में पार्क में पर्यटन नहीं है इसलिए पक्षी बेहतर प्रवास कर रहे हैं।

ठंड शुरू होते ही लौटते हैं वापस
विशेषज्ञों का मानना है कि गर्मियां इन गिद्धों का पसंदीदा मौसम है। कॉर्बेट पार्क में इजिप्शियन वल्चर काफी कम संख्या में दिखते हैं। ठंड शुरू होते ही यह गिद्ध कॉर्बेट से लौटने लगते हैं। अंडरविंग पैटर्न और पच्चर के आकार की पूंछ इसे उड़ान में विशिष्ट बनाती है।
ऐसा होता है व्यवहार
विशेषज्ञों के मुताबिक यह मिश्र के गिद्ध मुख्य रूप से कैरियन पर भोजन करते हैं, लेकिन अवसरवादी होते हैं और छोटे स्तनधारियों पक्षियों और सरीसृप का शिकार भी करते हैं।

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