उत्तर प्रदेश के आगरा के थाना जगदीशपुरा में 17 अक्टूबर को मालखाने से 25 लाख रुपये की चोरी के मामले में गिरफ्तार आरोपी अरुण की पुलिस हिरासत में मौत के मामले ने अब सियासी रूप ले लिया है। घटना को लेकर प्रियंका गांधी ने ट्विट कर लिखा – किसी को पुलिस कस्टडी में पीट-पीटकर मार देना कहां का न्याय है? आगरा पुलिस कस्टडी में अरुण वाल्मीकि की मौत की घटना निंदनीय है। भगवान वाल्मीकि जयंती के दिन उप्र सरकार ने उनके संदेशों के खिलाफ काम किया है। उच्चस्तरीय जांच व पुलिस वालों पर कार्रवाई हो व पीड़ित परिवार को मुआवजा मिले।
इतना ही नहीं कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी आंगरा पीड़ित परिवार से मिलने निकल गई। लेकिन उनके काफिले को आगरा एक्सप्रेस वे के entry-point पर रोका गया। जहां पर भारी पुलिस बल तैनात है। इसी दौरान कांग्रेस कार्यकर्ताओं की पुलिस के साथ झड़प हो गई। दरअसल प्रियंका गांधी पीड़ित परिवार से मिलने मलखाने जा रही थी। लेकिन पुलिस ने उन्हें रास्ते में ही रोक लिया।
वहीं दूसरी तरफ अखिलेश यादव ने भी यूपी सरकार को आड़े हाथों लिया। अखिलेश ने मलखाने की घटना पर अखिलेश यादव ने ट्वीट कर कहा है कि भाजपा सरकार में पुलिस खुद अपराध कर रही है तो फिर अपराध कैसे रुकेगा? आगरा में पहले सांठगांठ कर थाने के मालखाने से 25 लाख रुपये की चोरी कराई गई। फिर सच छिपाने के लिए गिरफ्तार किए गए सफाईकर्मी की कस्टडी में हत्या स्तब्ध करती है? हत्यारे पुलिसकर्मियों पर सख्त कार्रवाई होनी चाहिए।
वंही परिवारीजनों ने पुलिस कार्यवाही पर सवाल उठाते हुए पुलिस पर गभीर आरोप लगाए। पुलिस ने परिवारीजनों की तहरीर पर कही जांच कर कार्यवाही की बात कही। बता दें कि ऐतिहातन थाना जगदीश पूरा छावनी में तब्दील हो गया है। सफाई कर्मचारी की पुलिस कस्टडी के दौरान मौत हो गई थी। पुलिस कस्टडी में हुई मौत बाल्मिक समाज के नेताओं ने प्रशासन से एक करोड़ और एक सरकारी नौकरी की मांग उठाई है।