देहरादून। पूर्व पार्षद अजय सोनकर उर्फ घोंचू, अवैध शराब के सेवन से हुई मौतों के आरोपियों में से एक को 14 दिन की रिमांड पर जेल भेज दिया गया है। सूत्रों के मुताबिक, पुलिस अब मामले में नामजद अन्य आरोपियों की गिरफ्तारी का प्रयास कर रही है।
एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी के अनुसार, आरोपी घोंचू पहले से ही पुलिस के रडार पर था, लेकिन लापरवाही या राजनीतिक दबाव के कारण, जिला पुलिस उसके खिलाफ समय पर कार्रवाई करने में विफल रही।
यहां यह बताना उचित है कि स्थानीय लोगों ने आरोप लगाया है कि संबंधित पुलिस और अन्य अधिकारी आरोपी घोंचू को बचाने की कोशिश कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि भले ही उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया है, लेकिन उनके खिलाफ मामला उन्हें सीधे तौर पर मौतों से नहीं जोड़ता है।
दूसरी ओर, पूर्व पार्षद की गिरफ्तारी के बाद, भारतीय जनता पार्टी की सत्तारूढ़ सरकार के खिलाफ राजनीतिक आरोपों का निर्माण शुरू हो गया है। उत्तराखंड क्रांति दल (यूकेडी) के महानगर अध्यक्ष सुनील ध्यानी ने कहा कि भले ही भाजपा अब उनके साथ सभी संबंधों में कटौती करने की कोशिश कर रही है, लेकिन यह स्पष्ट है कि उनका पार्टी से जुड़ाव था।
कई अन्य घोंचू सहायता और सत्तारूढ़ सरकार की सरासर लोकप्रियता और शक्ति से घिरे हुए हैं जो समाज को नुकसान पहुंचा रहे हैं। उन्होंने कहा, “पार्टी के एक विधायक ने पहले कहा कि घोंचू भाजपा का सदस्य नहीं है। लेकिन उन्हें पार्टी से निकाल दिया गया और पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया। इससे उनके दोहरे मापदंड और उनके जैसे अपराधियों को समर्थन और सुरक्षा मिल रही है।