नई दिल्ली। देश के दूसरे सबसे बड़े बैंक पंजाब नेशनल बैंक में हुए साढ़े 11 हजार करोड़ के घोटाले को लेकर विपक्ष ने एक बार फिर केंद्र सरकार के खिलाफ ये जानते हुए अपनी तलावारे मयान से निकाल ली है कि ये घोटाला यूपीए के शासनकाल में हुआ था। इसी कड़ी में बहुजन समाज पार्टी की प्रमुख और उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने केंद्र की मोदी सरकार पर हमला बोलते हुए कहा है कि मोदी सरकार की नाक के नीचे हजारों करोड़ का महाघोटाला हो गया और सरकार सोने का बहाना करती रही। उन्होंने कहा कि इससे दो अहम प्रश्न उठते हैं कि मोदी द्वारा देश को दिए गए आश्वासन का क्या हुआ कि ना खाने दूंगा न खाउंगा और दूसरा ये की जनधन योजना के अंतर्गत करोड़ो गरीबों व मेहनतकश लोगों की कमाई का हिस्सा अपने बड़े उद्योगपतियों और धन्नसेठों को गबन करने के लिए दे दिया।
बैंक घोटाले को लेकर मायावती ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सरकार का क्या इसे ही अपना गुड गर्वेनेंस मानेगी की उसके चहेते उद्योगपतिगण देश के धन को लूटकर और बड़े धन्नासेठ बनते रहे और बीजेपी की सरकार उन्हें अपने गोद में बैठिाये फिरती रही। उन्होंने कहा कि इस प्रकार देश में जनहित व जनकल्याण की संवैधानिक ज़िम्मेदारी को पूरी तरह से भुलाकर धन्नासेठों के लिए ही पलकें बिछाने का काम मोदी सरकार द्वारा किया जाता रहा है और इसका नतीजा ये हुआ है कि धन्नासेठों की संख्या लगातार बढ़ती ही जा रही है और गरीब, किसान व बेरोजगार युवागण हर प्रकार से मोहताज का जीवन जीने को मजबूर हो रहे हैं।
बीएसपी प्रमुख ने कहा कि सीबीआई के मुताबिक ज्यादातर घोटाला सन 2017-18 अर्थात चालू वर्ष में हुआ है तो क्या इस सनसनीखेज बैंकिंग महाघोटाले के लिए नरेंद्र मोदी सरकार कोई जिम्मेदारी अपने ऊपर लेकर इसके मुख्य दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने की हिम्मत रखती है ताकि बैंकिंग व्यवस्था में जनता का विश्वास बहाल हो सके? मायावती ने सवाल उठाते हुए कहा कि आखिर क्या कारण है कि देश में अरबो-खरबों रुपयों का घोटाला करने वाले धन्नसेठों ललित मोदी, विजय माल्या, और नीरव मोदी एंड कंपनी के लोगों को देश छोड़कर बड़ी आसानी से विदेश भाग जाने दिया जाता है?