भोपाल। स्वास्थ्य विभाग अगले महीने राज्य के विभिन्न जिलों में स्वास्थ्य निदान शिविर आयोजित करेगा। गरीब मूत्रविज्ञान रोगियों की पहचान सेवा सदन नेत्र अस्पताल के नि: शुल्क मूत्रविज्ञान शिविर में भी की जा सकती है।
शनिवार को यहां प्रमुख सचिव स्वास्थ्य पल्लवी जैन गोविल ने यह सुझाव दिया। वह 95 वें नि: शुल्क यूरोलॉजी शिविर का अवलोकन करने के लिए यहां आई थीं। मौके पर मैनेजिंग ट्रस्टी एलसी जानीयानी, ट्रस्टीज हीरो ज्ञानचंदानी, टीडी अदवानी, हीरो केसवानी भी मौजूद थे।
पल्लवी जानी गोविल को बताया गया कि दो दिनों में 76 मूत्रविज्ञान रोगियों का ऑपरेशन किया गया है। उन्होंने अस्पताल के सामान्य और रिकवरी वार्डों का दौरा किया और विशेष रूप से महिलाओं और बाल मूत्रविज्ञान संचालित रोगियों की भलाई के बारे में पूछताछ की। उसने पूछताछ की कि वे इस मुफ्त शिविर के बारे में कैसे जान सकते हैं और सेवाओं और सुविधाओं की गुणवत्ता का स्तर क्या है।
मरीजों ने बताया कि स्वच्छता और सेवाओं की गुणवत्ता बहुत अच्छी है। पैरामेडिकल स्टाफ, स्वयंसेवकों और सर्जनों के व्यवहार रोगियों के लिए बहुत नरम है। पीएस ने अमेरिकी और स्थानीय यूरोलॉजी सर्जन डॉ। शिब्बन वारिकू, डॉ। अमर सिंह, डॉ। जितेंद्र अमलानी और डॉ। सीपी देवानी के साथ भी चर्चा की। बाद में उसने अस्पताल के आई केयर विंग का भी अवलोकन किया।
उन्होंने वरिष्ठ नेत्र रोग विशेषज्ञ डॉ। रश्मि आप्टे से चर्चा की। उसे बताया गया कि सेवा सदन होसपियाल आसपास के आठ जिलों में नेत्र देखभाल सेवाएं दे रहा है। इस अस्पताल ने आसपास के कस्बों और शहरों में आठ विजन सेंटर शुरू किए हैं।
भोपाल के 200 किलोमीटर की परिधि में बहुत जल्द पंद्रह नए दृष्टि केंद्र खोले जाएंगे। पीएस को बताया गया कि सेवा सदन नेत्र अस्पताल बहुत जल्द राजगढ़ जिले के कुरावर शहर के मोतियाबिंद मुक्त 10 गांवों के लक्ष्य को प्राप्त कर लेगा। उसे बताया गया कि इस वर्ष SSEH अस्पताल में पीडियाट्रिक्स विभाग के Ratinopathy की स्थापना करने जा रहा है।