लखनऊ। उत्तर प्रदेश के कैबिनेट मंत्री गायत्री प्रजापति की मुश्किलें दिनों-दिन बढ़ती जा रही है। पहले सुप्रीम कोर्ट ने उनकी गिरफ्तारी के आदेश दिए और फिर महिला मोर्चा ने उन्हें बर्खास्त करने की मांग की। अब इसी सब के बीच उत्तर प्रदेश के राज्यपाल राम नाईक ने सीएम अखिलेश यादव को एक खत लिखा है। राज्यपाल ने अखिलेश से पूछा है कि क्या गायत्री अब भी प्रदेश के मंत्री है।
राज्यपाल राम नाईक ने मुख्यमंत्री अखिलेश यादव को पत्र लिखकर कहा है कि इस प्रकार के मंत्री के कैबिनेट में बने रहने तथा उनके विरुद्ध कोई कार्यवाही नहीं किए जाने से लोकतांत्रिक शुचिता, संवैधानिक मर्यादा के साथ ही साथ संवैधानिक नैतिकता का गंभीर प्रश्न उठा रहा है। राज्यपाल ने अपने खत में आगे कहा है कि मुख्यमंत्री गायत्री प्रसाद प्रजापति के कैबिनेट में बने रहने के औचित्य पर अपने अभिमत से उन्हें शीघ्रातिशीघ्र अवगत करवाएं।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, फरार चल रहे उक्त कैबिनेट मंत्री के विदेश भाग जाने की आशंका को देखते हुए गृह मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा उनके विरुद्ध न केवल लुक आउट नोटिस जारी किया गया है बल्कि पासपोर्ट प्राधिकारी ने उनका पासपोर्ट भी निलंबित कर दिया है।
ये है पूरा मामला?
बता दें कि अक्टूबर 2016 में एक महिला ने गायत्री पर रेप का आरोप लगाया था। महिला ने कहा था कि गायत्री अपने गुर्गों के साथ 60-60 दिनों तक होटल के कमरे बुक करवा कर उनका उत्पीड़न किया करते थे। उस समय महिला ने यह भी कहा था कि प्रजापति ने नशीला पदार्थ उसकी चाय में मिलाकर अपने गुर्गो के साथ उसके साथ दुष्कर्म किया। हालांकि ये पूरा मामला 17 फरवरी को सुप्रीम कोर्ट की फटकार के बाद दर्ज किया गया। वहीं 27 फरवरी को वो अपने चुनाव क्षेत्र अमेठी में आराम से घूमते हुए दिखाी दिए और अब उसे पुलिस फरार बता रही है।
विवादों से प्रजापति का है गहरा नाता
गायत्री कई बार पहले भी विवादों में रहे हैं। सितम्बर 2016 में मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने पहली बार भ्रष्टाचार के आरोपों के कारण विवादों में रहने वाले गायत्री प्रजापति बर्खास्त कर दिया था। गायत्री तब खनन मंत्री थे और उन पर खनन मंत्री रहते हुए अवैध खनन की गतिविधियों में शामिल रहने का आरोप था। हालांकि इसके कुछ दिन बाद ही गायत्री को दोबारा मंत्री पद की शपथ दिलाई गई। तब उन्होंने मुलायम को भगवान बताया था। गायत्री ने कहा था, ‘नेताजी को बधाई, मुख्यमंत्री जी को विशेष बधाई। नेताजी भगवान हैं।’ उन्होंने कहा था कि मुख्यमंत्री ने अन्याय के खिलाफ काम किया। मैं गरीब के घर पैदा हुआ हूं। मुझ पर विरोधियों ने झूठे आरोप लगाए हैं। उन्होंने मुलायम और मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के पैर भी छुए।