नई दिल्ली। कुछ विधायकों के बागी तेवर अपनाने की वजह से कांग्रेस ने कर्नाटक के अपने सभी विधायकों को शुक्रवार शाम को एक रिजॉर्ट पहुंचा दिया। पार्टी ने यह फैसला कांग्रेस विधायक दल की बैठक के ठीक बाद लिया। जिसमें 4 ‘बागी’ विधायकों ने हिस्सा नहीं लिया। कर्नाटक में कांग्रेस के विधायक दल की शुक्रवार को हुई बैठक में 4 असंतुष्ट विधायक नहीं पहुंचे। बीजेपी द्वारा कर्नाटक में गठबंधन सरकार को गिराने की कथित कोशिशों को नाकाम करने के लिए पार्टी ने शक्ति-प्रदर्शन के तौर पर विधायकों की बैठक बुलाई थी। बैठक में 4 विधायकों की गैरमौजूदगी से एचडी कुमारस्वामी के नेतृत्व वाली कांग्रेस-जेडीएस गठबंधन सरकार को फिलहाल तो कोई खतरा नहीं है। लेकिन इससे यह संकेत जरूर मिलता है कि राज्य कांग्रेस के भीतर सब कुछ ठीक नहीं है। कांग्रेस विधायक दल के नेता और पूर्व मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने कहा कि बैठक में अनुपस्थित रहने वाले चारों विधायकों को पार्टी नोटिस जारी करेगी और उनसे इसका कारण पूछेगी।
बता दें कि विधायकों को रिजॉर्ट में रखने के कदम का बचाव करते हुए कर्नाटक कांग्रेस अध्यक्ष दिनेश गुंडु राव ने कहा, ‘भारतीय जनता पार्टी खुलेआम खरीद-फरोख्त में शामिल है और जेडीएस-कांग्रेस गठबंधन सरकार को येन केन प्रकारेण गिराने की कोशिश कर रही है।’ उन्होंने कहा, ‘हमें अपने सभी विधायकों को एक जगह रखने और आगामी लोकसभा चुनाव के लिए चर्चा की जरूरत है। दूसरी तरफ, बीजेपी ने विधायकों के गायब रहने पर कांग्रेस पर हमला बोला है। बीजेपी महासचिव पी. मुरलीधर राव ने कहा कि पूर्व मंत्री रमेश जरकीहोली समेत 4 कांग्रेसी विधायकों का विधायक दल की बैठक से नदारद रहना साफ तौर पर देश की सबसे पुरानी पार्टी में दरार को दिखाता है।
वहीं बैठक से पहले, कांग्रेस विधायक दल के नेता सिद्धारमैया ने पार्टी विधायकों को नोटिस जारी किया था और चेतावनी दी थी कि अगर वे अनुपस्थित रहे तो इसे ‘गंभीरता’ से लिया जाएगा और उनके खिलाफ दल-बदल कानून के तहत कार्रवाई की जाएगी। कांग्रेस सूत्रों ने बताया कि विधायक दल की बैठक में 4 विधायक- रमेश जरकीहोली, बी. नागेंद्र, उमेश जाधव और महेश कुमाटहल्ली नहीं शामिल हुए। जरकीहोली को हालिया कैबिनेट फेरबदल में मंत्री पद से हटाया गया था और बताया जा रहा है कि वह इससे काफी नाखुश हैं।
साथ ही असंतुष्ट विधायक उमेश जाधव ने पहले ही सिद्धारमैया को खत लिखकर बैठक में अपने नहीं आने की जानकारी दे दी थी। उन्होंने सिद्धारमैया को लिखा कि उनके विधायक निवास के बाहर लेटर चिपकाकर मीटिंग के बारे में बताया गया था लेकिन वह अस्वस्थ हैं। इस वजह से वह बैठक में शामिल नहीं होंगे। एक और असंतुष्ट विधायक बी. नागेंद्र ने गुरुवार को कहा था कि एक कोर्ट केस की वजह से वह कांग्रेस विधायक दल की बैठक में शामिल नहीं हो पाएंगे। बैठक में लोकसभा में कांग्रेस के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे, सिद्धारमैया, कांग्रेस महासचिव के. सी. वेणुगोपाल और राज्य के नेता उपस्थित थे। बैठक के बाद, कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं ने जोर देकर कहा कि गठबंधन सरकार को कोई खतरा नहीं है और बीजेपी इसे ‘अस्थिर’ करने के लिए ‘व्यर्थ’ के प्रयास कर रही है। कांग्रेस ने कहा कि बीजेपी की साजिश का ‘पर्दाफाश’ हो चुका है।