राजस्थान

बीजेपी विधायक ने वसुंधरा राजे को की हटाने की मांग

Untitled 18 बीजेपी विधायक ने वसुंधरा राजे को की हटाने की मांग

नई दिल्ली। राजस्थान में आगामी विधानसभा चुनाव जोरों पर हैं और जहां एक और हर कोई अपनी पार्टी को बेहतर रुप में प्रदर्शित कर रहा हैं तो दूसरी और बीजेपी एक विधायक अपनी ही पार्टी की सीएम पर सवाल खड़ा रहे हैं। बता दे कि राजस्थान के भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के एक विधायक ने अपनी ही पार्टी की मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे पर गंभीर आरोप लगाए हैं उन्होनें मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे को हटाने की मांग की हैं।

Untitled 18 बीजेपी विधायक ने वसुंधरा राजे को की हटाने की मांग

बता दे कि बीजेपी के स्थापना दिवस के मौके पर संगनेर से विधायक घनश्याम तिवारी की ओर से अपनी बात रखी गई जिसमें घनश्याम तिवारी ने जनहित में सीएम को हटाने की मांग की। घनश्याम तिवारी ने पार्टी राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह को एक चिट्ठी लिखकर वसुंधरा राजे पर आरोप लगाया कि वे अपने निजी फायदों के लिए राजनीतिक सत्ता का गलत इस्तेमाल कर रही हैं और राज्य सरकार उन लोगों का एक समूह है जो कि धमकी देकर पैसा वसूलता है।

बता दे कि मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे से सभी जाति और समुदाय के लोग नाराज हैं और इसी वजह से जो मार्च में झुनझुन में पीएम मोदी की सार्वजनिक बैठक हुई थी इस दौरान काले झंडे दिखाए गए थे। तिवारी ने सीएम पर आरोप लगाते हुए कहा कि मुख्यमंत्री की न तो संगठन और न ही सरकारी सुधार में कोई दिलचस्पी है। बता दे कि विधायक घनश्याम तिवारी की ओर से चिट्ठी में दावा किया गया हैं कि मुख्यमंत्री के नेतृत्व में जयपुर, बीकानेर, बाड़मेर, कोटा, उदयपुर, अलवर, अजमेर, सीकर और अन्य जिलों के लोग काफी नाराज हैं।

बता दे कि तिवारी के अनुसार वसुंधरा राजे राज्य को लूट रही हैं और इसी के साथ तिवारी ने पार्टी चीफ पर भी सवाल उठाया हैं कि वो सारी स्थितियों से जागरुक हैं फिर भी मुख्यमंत्री के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है। बता दे कि यें सारी बाते तिवारी ने मीडिया से बातचीत के दौरान कही थी जब “पार्टी स्थापना दिवस था उसी दौरान तिवारी ने अपनी भावना व्यक्त की हैं और पार्टी अध्यक्ष को बताया है कि राज्य में क्या हो रहा है।

इससे पहले भी मैंने शिकायत की थी लेकिन मुख्यमंत्री के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई। मैं चाहता हूं कि लोगों और राज्य की भलाई को ध्यान में रखते हुए मुख्यमंत्री को बर्खास्त किया जाए। उन्हें अब और ज्यादा राज्य की राजनीति में नहीं रहना चाहिए और ऐसी स्थिती में ही मैं बीजेपी के टिकट पर चुनाव लड़ने का विचार करूंगा। मैं वसुंधरा राजे के नेतृत्व में चुनाव नहीं लड़ सकता।” बता दे कि कुछ समय बाद राजस्थान में चुनाव आने वाले हैं और ऐसे में अगर पार्टी के अंदर ही फूट हैं तो जनता पर इसका प्रभाव क्या पड़ता हैं यें देखने की बात होगी। बता दे कि अगर बीजेपी राजस्थान में चुनाव हारती हैं तो उसका 2019 पर भी काफी गहरा प्रभाव पड़ेगा।

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