लखनऊ। उत्तर प्रदेश में मुख्तार अंसारी की पार्टी कौमी एकता दल अब समाजवादी पार्टी में शामिल नहीं होगी। खबर है कि समाजवादी पार्टी ने मुख्तार अंसारी की पार्टी कौमी एकता दल का विलय रद्द कर दिया है। सपा नेता रामगोपाल यादव ने इस बात की जानकारी दी है।
समाजवादी पार्टी की संसदीय बोर्ड की बैठक में यह फैसला लिया गया। इसके साथ ही कौमी एकता दल का सपा में विलय कराने के सूत्रधार रहे बलराम यादव की कैबिनेट में वापसी हो गई है। बता दें कि सपा प्रमुख मुलायम सिंह यादव के छोटे भाई और अखिलेश के चाचा शिवपाल यादव ने मुख्तार की पार्टी का सपा में विलय कराने में अहम भूमिका निभाई थी।
2 घंटे तक चली समाजवादी पार्टी की बैठक में ये फैसला लिया गया। इस फैसले से एक बात साफ हो गई कि अपने चाचा शिवपाल यादव पर सीएम अखिलेश यादव भारी पड़ गए हैं।
अखिलेश ने क्या कहा:-
मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने कहा है कि मुख्तार अंसारी जैसे लोग पार्टी में नहीं होंगे। उन्होंने कहा कि हमने मुख्तार अंसारी जैसे लोगों को पार्टी में नहीं लिया है।
अखिलेश ने कार्यक्रम में मुख्तार की पार्टी को सपा में शामिल किये जाने संबंधी सवाल पर कहा कि मैंने फैसला किया कि हम ऐसे लोगों को नहीं चाहते।