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डोनाल्ड ट्रम्प की वापसी का संकेत दे रहे हैं ये मुद्दे

donald trump 1 डोनाल्ड ट्रम्प की वापसी का संकेत दे रहे हैं ये मुद्दे
  • अमेरिका में पिछले एक साल में राजनीतिक माहौल गर्माया है
  • अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प इस बार भी अपनी वापसी का रास्ता तलाया रहे हैं

इंटरनेशनल डेस्क || भारत खबर

अमेरिका में राष्ट्रपति के चुनाव जल्द ही होने वाले हैं इसके लिए राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने अब अपने फेवर में चुनाव प्रचार करना शुरू कर दिया है। उनके सामने कौन-कौन सी चुनौतियां होंगी जो प्रमुख होगी। कौन-कौन से ऐसी चीजें हैं जिसे डोनाल्ड ट्रंप ने अपने कार्यकाल में किए हैं जो उनको फायदा दे सकते हैं, आज इसी पर भारत खबर आपको बताने जा रहा है कुछ विशेष बातें।

हालांकि डोनाल्ड ट्रंप एक सुलझे हुए और अंतरराष्ट्रीय स्तर के नेता हैं लेकिन फिर भी अमेरिका में हाल ही में हुए सर्वे में बात सामने आई कि ज्यादातर अमेरिकियों का मानना है कि देश एक गलत दिशा में जा रहा है। उसको इस सर्वे के बाद से डोनाल्ड ट्रंप की राह इस बार काफी मुश्किलों भरी हो सकती है इसलिये इस चुनाव में उनको पहले से भी कहीं ज्यादा मेहनत करने की आवश्यकता है।

ट्रंप ने व्हाइट हाउस में अपना पहला चुनावी भाषण शुक्रवार को दिया इस दौरान सिक्योरिटीज की व्यवस्था बेहद टाइट और सुलझी हुई थी, सिक्योरिटी ऐसी थी कि परिंदा भी पर नहीं मार सकता था। खासकर पिछले 6 महीने में उनके खिलाफ हुए प्रदर्शन और अमेरिका के माहौल को देखते हुए इस सिक्योरिटी को मजबूत बनाया गया था ताकि प्रदर्शन करने वाले उनके भाषण में खलल न डाल सकें।

भारत खबर अमेरिकी राष्ट्रपति चुनावों पर बेहद बारीकी से नजरें गड़ाए रखी हैं। हमने यह जानने की कोशिश की, कि आखिर वो कौन सी ऐसी बातें हैं जो डोनाल्ड ट्रंप की दुबारा सत्ता वापसी का संकेत देती हैं। तो आइये यहां जानते हैं उनमें से कुछ प्रमुख बातों को-

अमेरिका में क़ानून व्यवस्था

भारत की ही तरह अमेरिका में अपराध और हिंसा का जो वातावरण है वह मुश्किलों भरा हो गया था। पिछले साल जब अमेरिका में अपने चुनावी अभियान के दौरान डोनाल्ड ट्रंप ने अपना भाषण दिया था तो उस वक्त उन्होंने यह वादा किया था कि अपराध और हिंसा की गतिविधियों से अमेरिका को बाहर निकालेंगे। उन्होंने कहा था कि अमेरिका में तबाही की इबारत लिखने वालों को सावधान होना पड़ेगा और अमेरिका को बेहतर बनाने में पूरी मदद करना होगा।

हालांकि अमेरिका में पिछले 3 वर्षों में हिंसक अपराधों की संख्या में बढ़ोतरी दर्ज की गई है। पुलिस की क्रूरता का हिंसक शक्ल भी देखने को मिला है लेकिन राष्ट्रपति का तर्क है कि राज्य और स्थानीय डेमोक्रेट्स की गलती से इन सभी बातों को बढ़ावा मिला है। डोनाल्ड ट्रंप का मानना है कि वोटर्स को इन बातों की अच्छी तरह से समझ है और वो एक बार फिर से उन्हें मौका देने का काम करेंगे।

ट्रंप ने कहा कि, नागरिकों का वोट तय करेगा कि हम अपने क़ानून को मानने वाले अमरीकियों की सुरक्षा करेंगे या हम हिंसक अराजक तत्वों, प्रदर्शनकारियों और अपराधियों को मनमानी करने की खुली छूट दे देंगे। जॉर्ज फ़्लॉयड की मौत के बाद बड़े पैमाने पर शुरू हुए विरोध प्रदर्शनों में राष्ट्रपति का फ़ोकस मिनेपोलिस, पोर्टलैंड, शिकागो और अब केनोशा, विसकॉन्सिन जैसी जगहों पर हुई हिंसा पर रहा है। उनका फ़ोकस पुलिस की कार्रवाई पर नहीं रहा है जिसकी वजह से ये हिंसा शुरू हुई। गुरुवार की रात को भी ऐसा ही हुआ।

कोरोना काल से उबरने में खुद को सफलता श्रेय देना

नि:संदेह रूप से कोरोनावायरस ने पूरे विश्व को तबाह किया है, इसमें सबसे ज्यादा प्रभावित देशों की संख्या में अमेरिका भी है। कोरोना के 60 लाख केस सामने आए और इसमें से एक लाख 82 हजार से ज्यादा लोग मारे गए। ट्रंप और रिपब्लिकन ने पूरे हफ्ते इस तथ्य के बारे में बात करने की कोशिश की। पहली बार माइक पेंस और मेलानिया ट्रंप व खुद राष्ट्रपति डेानाल्ड ट्रंप ने कोरोनावायरस में मारे गये लोगों के प्रति सहानुभूति जताई और उन्हें श्रद्धांजलि दी।

ट्रंप ने कहा कि, एक देश के तौर पर हमे दुख है और हम उन लोगों की यादें हमेशा अपने दिलों में ज़िंदा रखेंगे जिनकी जानें इस तरह से चली गई हैं। उनके सम्मान में हम एकजुट होंगे और हरसंभव कोशिश कर हम इस दु:ख से उबरने का प्रयास करेंगे।

कोरोना को पूर्णरूप से चीन का जिम्मेदार मानते हुए चीन से युवकों के ट्रेवल पर बैन लगाने, इलाज के लिए रिसर्च में सहयोग न करने का ऐलान किया तो वहीं हाल ही में 75 करोड़ डॉलर के नए रैपिड रिजल्ट कोरोनावायरस टेस्ट और इस साल के अंत में अमेरिकी वैक्सीन आने के दावे कर डोनाल्ड ट्रंप को उम्मीद है कि वो दोबारा से राष्ट्रपति बनने की दिशा में अग्रसर हैं।

एक और आर्थिक वापसी का वादा

कोरना काल के दौरान अमेरिका ज्यादा प्रभावित देशों में शामिल रहा और वहां पर करीब तीन करोड़ से ज्यादा लोग बेरोजगार हो गए रोटी बैंक के सहारे ज्यादातर लोग अपनी जिंदगी गुजार रहे हैं। ट्रम्प ने 2020 कैंपेन को पूरी तरह से इकोनॉमी की मजबूती पर टिकाने का वादा कर एक बार फिर अपनी वापसी का जरिया मजबूत कर लिया है। आपको बता दें कि अमेरिका में बेरोज़गारी की दर बढ़ने के साथ कंज़्यूमर कॉन्फिडेंस लड़खड़ा गया है।

हालांकि, स्टॉक मार्केट एक बार फिर से सुधर रहा है। पोल्स से पता चल रहा है कि राष्ट्रपति को अभी भी अर्थव्यवस्था को संभालने के लिए सबसे अच्छे नंबर मिल रहे हैं। हालांकि, रिपब्लिकन कनवेंशन का मुख्य फ़ोकस अमरीकियों को यह याद दिलाने पर रहा है कि महामारी के पहले किस तरह की आर्थिक उपलब्धियां हासिल की गई हैं। इनमें 2017 की टैक्स कटौती, कनाडा, मेक्सिको और साउथ कोरिया के साथ फिर से हुई ट्रेड डील और एक वक़्त पर सबसे कम बेरोज़गारी जैसी उपलब्धियां शामिल हैं।

नस्लीयता के मोर्चे पर काम

पिछले 1 साल में नस्लीय टिप्पणियों और पुलिस द्वारा किए गए नस्लीय भेदभाव का मुद्दा लगातार सुर्खियों में रहा है हालांकि व्हाइट हाउस में नस्लीयता को लेकर ट्रंप का रिकॉर्ड ठीक-ठाक रहा है। ट्रम प्रशासन ने क्रिमिनल जस्टिस रिफॉर्म बिल लाने में मदद की लेकिन उनके विरोधियों का मानना है कि उनके शब्द और खासतौर पर उनके ट्वीट उनकी वास्तविकता से भिन्न हैं।

विपक्षियों का आरोप है कि पिछले दिनों हुए हिंसक प्रदर्शनों में राष्ट्रपति का प्रयास बेहद निराशाजनक रहा है और पुलिस की क्रूरता और एक कमजोर तंत्र को उजागर करने वाली व्यवस्था ने काले समुदायों के लिए चिंता खड़ी कर दी है। इस हफ़्ते रिपब्लिकन्स ने राष्ट्रपति को काले समुदाय के एक ऐसे चैंपियन के तौर पर दिखाने की कोशिश की है जिसके काम को कमतर आंका गया है।

ट्रंप के चुनावी कन्वेंशन में इस बात पर जोर दिया गया है कि जितने भी नस्लीय भेदभाव हैं ट्रंप उनको दूर करने में पूरी तल्लीनता से लगे हुए हैं और किसी तरह से भी काली अमेरिकियों को खतरा पैदा ना हो इसके लिए वह नए सिरे से सोच रहे हैं।

पूर्व फ़ुटबॉल स्टार हर्शेल वॉकर, सीनेटर टिम स्कॉट, केंटुकी अटॉर्नी जनरल डैनियल कैमरून, हाउसिंग सेक्रेटरी बेन कार्सन, व्हाइट हाउस स्टाफर जारोन स्मिथ समेत यह एक ऐसा आधुनिक रिपब्लिकन कनवेंशन था जिसमें काले वोटरों तक पहुंचने की भरसक कोशिश की गई थी।

बहन के गंभीर आरोपों का डोनाल्ड ट्रंप ने बेबाकी से दिया जवाब

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की बहन क्लेरेंस हेंडरसन ने डोनाल्ड ट्रंप पर कई आरोप लगाए और उनकी नीतियों को दिखावा बताया। एक राजनीतिक कनवेंशन के दौरान राष्ट्रपति की शक्तियों के विवादास्पद प्रदर्शन के तौर पर ट्रंप ने दोषी क़रार हुये थाजोन पोंडर को माफ़ कर दिया जो कि और अब पूर्व कैदियों को समाज में वापस लौटने के प्रोग्राम में मदद दे रहा है।

2016 में काले वोटरों से 10 फ़ीसदी इलेक्टोरेट बना था। इसमें से 90 फ़ीसदी ने डेमोक्रेट हिलेरी क्लिंटन को वोट दिया था। अगर ट्रंप इस तबके से डेमोक्रेट्स के वोट छीनने में कामयाब होते हैं तो इसका फ़ायदा उन्हें मिल सकता है।

बाइडेन पर बार-बार हमला

अपने विरोधी जो बाइडन पर लगातार ट्रंप के हमलों ने एक बार फिर यह साबित कर दिया है कि वह हमेशा हमलावर रहकर अपने लिए मजबूत कन्वेंशन करेंगे। ट्रंप ने बार-बार यह कहा है कि जो काम उन्होंने पिछले तीन-चार वर्षो में कर दिया उसे जो बिडेन अगले 47 वर्षों में भी नहीं कर सकते।

2016 में ट्रंप नेगेटिव अप्रूवल रेटिंग के बावजूद अपनी विरोधी हिलेरी क्लिंटन की वजह से जीत गए थे क्योंकि उन्हें भी उतना ही अलोकप्रिय माना गया था। पूरे हफ्ते के दौरान पार्टी चेयर रोना मैकडैनियल और पेंस जैसे रिपब्लिकन्स ने डेमोक्रेटिक कनवेंशन में नीतियों के ब्योरे के अभाव का फ़ायदा उठाने की कोशिश की और बाइडेन को एक वामपंथी के तौर पर दिखाने का प्रयास किया।

सीनेट स्कॉट और केंटुकी के कैमरून ने उनकी नस्लीय मसले पर संवेदनशीलता को कठघरे में खड़ा किया. पेंस ने कहा कि बाइडेन इस देश को संभालने और सुरक्षित रखने लायक नहीं हैं। पेंस ने कहा, कड़वी सच्चाई यह है कि आप जो बाइडेन के अमरीका में सुरक्षित नहीं होंगे।

अपनी गुरुवार रात की स्पीच में ट्रंप ने इस हमले को और तेज़ धार दी। उन्होंने कहा, बाइडेन का रिकॉर्ड भयंकर धोखेबाज़ी और ग़लत फ़ैसलों से भरा है। उन्होंने अपना पूरा करियर इतिहास के ग़लत तरफ़ खड़े होकर गुज़ारा है। उन्होंने चेतावनी दी कि बाइडेन टैक्स जुटाएंगे और अवैध माइग्रेशन को बढ़ावा देंगे, क्रिमिनल्स को सड़कों को छोड़ देंगे और आपकी बंदूकें ज़ब्त कर लेंगे।

बुधवार की अपनी स्पीच में पेंस ने कहा कि ट्रंप अमरीकी विरासत को बचाएंगे। उन्होंने कहा, अगर आप एक ऐसे राष्ट्रपति को चाहते हैं जो कि आपकी विरासत को नष्ट या अपमानित किए जाते वक्त खामोश रहे तो वो ऐसे शख्स नहीं हैं। ट्रंप ने कहा, “हमेशा याद रखिए. वो मेरे पीछे इसलिए पड़े हैं क्योंकि मैं आपके लिए लड़ता हूं।

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