दिल्ली। डेंगू और चिकनगुनिया जैसी खतरनाक बीमारियों से लोगों को निजात नहीं मिली थी कि अब दिल्ली के लोगों पर बर्ड फ्लू का खतरा मंडराने लगा है। लगातार पक्षियों की एक के बाद एक हो रही मौतों ने दिल्ली सरकार की नींद उड़ा दी है। बर्ड फ्लू के निशान सबसे पहले दिल्ली के चिड़िया घर में देखे गए जिसके चलते आनन-फानन में दिल्ली सरकार ने चिड़ियाघर और हौजखास के डियर पार्क को बंद करने का एलान किया है। बता दें कि अब तक दिल्ली में 17 पक्षियों की मौत हो चुकी है जिसके चलते सरकार ने अलग-अलग जगहों से कई सैंपिल्स को इकट्ठा करके जालंधर की लैब में जांच के लिए भेजा है। इसके साथ ही सरकार ने लोगों से रिपोर्ट न आने तक पक्षियों से दूर रहने और चिकन न खाने की अपील की है।
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार दिल्ली सरकार इस मामले पर अपनी पूरी नजर बनाए हुए है और जिसके चलते उसके 23 सदस्यों की एक टीम को भी गठित किया है। इसके साथ ही रैपिड रिस्पांस टीम की संख्या बढ़ा दी है। खबर के अनुसार ये टीम मंडियों में जाकर पक्षियों की जांच पड़ताल करेगी।
वहीं दिल्ली सरकार के स्वास्थ्य मंत्री गोपाल राय ने गुरुवार को बताया कि उन्होंने पड़ोसी राज्यों को सतर्क रहने का आग्रह किया है। उन्होंने कहा ऐसा देखा जा रहा है कि बाहर से आए पक्षियों में इस बीमारी के लक्षण दिखाई दे रहे हैं। इसके साथ ही गोपाल राय ने कहा कि एक टीम भी बनाई गई है जो चंडीगढ़ और महाराष्ट्र के अधिकारियों के लागातार कान्टेक्ट में बनी रहेगी जिन्हें इस प्रकार के संक्रमण से बचने का अनुभव है। इसके अलावा राय ने बताया कि सभी संबंधित विभागों को निर्देश दिया गया है कि कहीं भी किसी पक्षी की मृत्यु की सूचना मिलती है तो तुंरत पशुपालन विभाग के कंट्रोल रूम के फोन नंबर 23890318 पर सूचित करें।
जानिए क्या है बर्ड फ्लू?
बर्ड फ्लू बाहर से आने वाले पक्षियों से फैलने वाली बीमारी है जो कि एक से दूसरे में आसानी से फैलता है। इसके लक्षण सर्दी, जुखाम, खांसी, तेज बुखार और सांस लेने में तकलीफ होना है। इसका सबसे ज्यादा खतरा उन लोगों को होता है जो पक्षियों का काम करते है या फिर चिकन को खाते है। ये एक जानलेवा बीमारी है और कब महामारी का रुप ले ले इसके बारे में कुछ भी कहा नहीं जा सकता। ये बीमारी तीन तरह के वायरस से होती है जिनमें एवियन इंफ्लूएंजा, एच5एन1 और इंफ्लूएंजा ए वायरस शामिल हैं। इसमें एच5एन1 सबसे खतरनाक माना जाता है। एच5एन1 वायरस पक्षियों में होता है और पक्षियों से होते हुए वायरस आसानी से इंसान के शरीर में प्रवेश कर सकता है।