लखनऊ: उत्तर प्रदेश में बाढ़ और बारिश का कहर जारी है। सरकारी आंकड़ों में बताया गया है कि बीते 24 घंटे के अंदर 13 लोगों की मौत हो चुकी है। बाढ़ के कारण 73,289 लोग प्रभावित हुए हैं। बाढ़ प्रभावितों की मदद के लिए राज्य आपदा प्रबंध प्राधिकरण ने राहत कार्य तेज कर दिए हैं।
राहत बचाव कार्य जारी
प्राधिकरण की परियोजना निदेशक अदिति उपराव ने बताया कि बाढ़ प्रभावित जिलों फर्रुखाबाद, फैजाबाद, बिजनौर, कानपुर देहात, कानपुर नगर, गोंडा, बहराइच, बाराबंकी, लखीमपुर खीरी, सीतापुर व पीलीभीत के 141 गांवों में राहत कार्य तेज करा दिए गए हैं। बाढ़ से घिरे 15,197 लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया जा चुका है।
नदियां बह रही खतरे के निशान के ऊपर
गोंडा में घाघरा का जल स्तर खतरे के निशान से 64 सेमी तथा गल्गिन ब्रिज के पास घाघरा का जल स्तर 67 सेमी ऊपर है। बलरामपुर में राप्ती नदी 10 सेमी घतरे के निशान से ऊपर है। मुरादाबाद में ठाकुरद्वारा तहसील में फीका नदी पर बना पुल क्षतिग्रस्त हो गया है। बस्ती में घाघरा तो देवरिया में राप्ती नदी खतरे के निशान से ऊपर है।
187 लोगों की हो चुकी है मौत
आपको बता दें बारिश ने बीते पांच सालों का रिकार्ड तोड चुकी है। वहीं इस खतरनाक बारिश ने अब तक लगभग 187 लोगों को अपने गाल के अन्दर समेंट लिया है। यह बारिश ने खास उत्तर भारत में ज्यादा तबाही मचाई है। कई जगहों से तबाही की दर्दनाक तस्वीरें देखने को मिली। वहीं कई मंजिला इमारतें इस बारिश की वजह से ताश के पत्तों की तरह बिखरती हुई नजर आई हैं।
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BY ANKIT TRIPATHI