नई दिल्ली। कर्नाटक में कर का नाटक अभी तक जारी है। और कर्नाटक मे सीएम पद के लिए 30-30 महीनें का जो समझौता कहा जा रहा था उस सवाल पर से पर्दा हटाते हुए जेडीएस ने साफ कर दिया कि CM पद को लेकर कांग्रेस और जेडीएस में ऐसा कोई समझौता नहीं हुआ है। मुख्यमंत्री बनने जा रहे जेडीएस नेता एचडी कुमारस्वामी ने उन रिपोर्टों को सिरे से खारिज कर दिया है जिसमें कहा जा रहा था कि उनकी पार्टी कांग्रेस के साथ 30-30 महीने के पावर शेयरिंग फॉर्म्युले पर बात कर रही है।
आपको बता दें कि विधानसभा चुनाव में बीजेपी सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी पर बहुमत से चूक गई। येदियुरप्पा मुख्यमंत्री भी बने पर बहुमत का आंकड़ा हासिल नहीं करने के कारण उन्हें इस्तीफा देना पड़ा। जेडीएस नेता कुमारस्वामी को सीएम पद देते हुए अब कांग्रेस गठबंधन सरकार में शामिल होने जा रही है।
‘इस तरह की कोई बात नहीं हुई है।’
कांग्रेस के साथ सत्ता साझा करने के फॉर्म्युले से संबंधित खबरों के बारे में पूछे जाने पर कुमारस्वामी ने पत्रकारों से कहा, ‘इस तरह की कोई बात नहीं हुई है।’ दरअसल, मीडिया के एक वर्ग में ऐसी खबरें थीं कि दोनों दल बारी-बारी से सरकार का नेतृत्व करने के फॉर्म्युले पर बात कर रहे हैं। इससे पहले 2006 में बीजेपी और जेडीएस ने बारी-बारी से 20-20 महीने के लिए गठबंधन सरकार का नेतृत्व करने का समझौता किया था।
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बीजेपी के साथ गठबंधन सरकार का नेतृत्व
बता दे कि इसी समझौते के तहत कुमारस्वामी की ओर से 2006 में बीजेपी के साथ गठबंधन सरकार का नेतृत्व किया था लेकिन जब सरकार का नेतृत्व करने के लिए बीजेपी की बारी आई तो कुमारस्वामी समझौते से मुकर गए और बीएस येदियुरप्पा को सत्ता सौंपने से इनकार कर दिया। आखिरकार सरकार गिर गई।
सोनिया और राहुल गांधी से करेंगे मुलाकात
इसके बाद 2008 में हुए चुनावों में बीजेपी ने अपने दम पर सरकार बनाई और येदियुरप्पा दक्षिण में बीजेपी की पहली सरकार के मुख्यमंत्री बने।बता दे कि जेडीएस नेता सोमवार को UPA चीफ सोनिया गांधी और कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी से दिल्ली में मुलाकात करेंगे। इस दौरान वह सरकार गठन के तौर-तरीकों पर चर्चा के अलावा उन्हें 23 मई को होनेवाले शपथ ग्रहण समारोह में आमंत्रित भी करेंगे।