सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को एक जनहित याचिका पर विचार करने से इनकार कर दिया, जिसमें राजनीतिक दलों को निर्देश दिया गया है कि वे दो से अधिक बच्चों को टिकट न दें।
मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई और न्यायमूर्ति संजीव खन्ना की खंडपीठ एक याचिका पर सुनवाई कर रही थी, जिसमें निर्देश दिया गया था कि राजनीतिक दलों को ‘दो-बच्चे के आदर्श’ का पालन करना चाहिए और दो से अधिक बच्चों वाले छेत्र के उम्मीदवारों का पालन नहीं करना चाहिए।
भाजपा नेता और वकील अश्विनी उपाध्याय द्वारा दायर याचिका, सरकारी नौकरियों, सहायता और सब्सिडी के लिए एक अनिवार्य मानदंड के रूप में ‘दो-बच्चे के आदर्श’ की घोषणा करने की मांग की और आग्रह किया कि कानून, राज्य की मान्यता के लिए “शर्त” के साथ काम करता है।
याचिका में कहा गया है कि मानदंड का पालन नहीं करने से नागरिकों के वैधानिक अधिकारों को वापस लेने की अनुमति मिलनी चाहिए, जिसमें मतदान का अधिकार और चुनाव लड़ना शामिल है।
सुप्रीम कोर्ट ने राजनीतिक दलो को दो से अधिक बच्चो वाली जनहित याचिका की खारिज