वाराणसी: फाल्गुन मास में कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि यानी 11 मार्च को भगवान शंकर की महाशिवरात्रि मनाई जाएगी। मगर, इस अवसर पर श्रद्धालु बाबा काशी विश्वनाथ को स्पर्श करके आशीर्वाद प्राप्त नहीं कर सकते।
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असल में, महाशिवरात्रि के अवसर पर श्रीकाशी विश्वनाथ मंदिर में चारों द्वार से बाबा की झांकी दर्शन की व्यवस्था रहेगी। श्रद्धालुओं को मंदिर के गर्भगृह में जाने और शिवलिंग को स्पर्श करने की अनुमति नहीं मिलेगी। बाबा के जलाभिषेक के लिए चारों द्वार पर अरघे लगाए जाएंगे। यह बात वाराणसी मंडलायुक्त दीपक अग्रवाल ने कही है।
चारों द्वार के लिए ऐसी होगी व्यवस्था
कमिश्नर दीपक ने बताया कि मंदिर परिसर में महादेव के भक्तों की सुविधा के लिए चार एलईडी स्क्रीन लगेंगे, जिस पर लाइव टेलीकास्ट होगा। मैदागिन और गोदौलिया पर साउंड सिस्टम से उचित जानकारी प्रसारित की जाएगी। डॉक्टर्स की टीम के साथ एंबुलेंस मंदिर परिसर पर ही उपलब्ध रहेगी। उन्होंने शिव बारात के मार्ग को ठीक-ठाक करने के निर्देश दिए हैं।
तीन दिनी महोत्सव होगा आयोजित
जानकारी के मुताबिक, राजघाट पर तीन दिनी महाशिवरात्रि महोत्सव का आयोजन किया जाएगा। इसमें 11 मार्च को स्थानीय कलाकारों की सांस्कृतिक प्रस्तुति, 12 मार्च को कवि सम्मेलन और 13 मार्च को गायक कैलाश खेर भक्ति की सुर छेड़ेंगे। इस दौरान महोत्सव में प्रदर्शनी भी लगेगी, जिसमें विभिन्न विभागों के स्टाल भी होंगे। इस बैठक में आइजी विजय सिंह मीणा, जिलाधिकारी कौशल राज शर्मा, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अमित पाठक, काशी विश्वनाथ मंदिर सीईओ सुनील वर्मा समेत अन्य विभागीय अधिकारी उपस्थित रहे।
डीएम ने दिए उचित व्यवस्था के निर्देश
बैठक के बाद डीएम कौशल राज शर्मा ने सभी एसडीएम व खंड विकास अधिकारियों को निर्देश दिया कि महाशिवरात्रि पर पंचकोसी परिक्रमा के दौरान भक्तों को किसी तरह की परेशानी नहीं होनी चाहिए। उन्होंने पंचकोसी यात्रा मार्ग मरम्मत, स्वच्छता, मार्ग में पेयजल व विद्युत की व्यवस्था, धर्मशाला एवं सार्वजनिक भवनों की समुचित साफ-सफाई कराने के निर्देश दिए। जिलाधिकारी ने मार्ग के अवैध अतिक्रमण भी तत्काल हटवाने के निर्देश दिए। डीएम शर्मा ने कहा कि 07 मार्च से विशेष गंगा सफाई अभियान की शुरुआत, जिसमें जन-जन की भागीदारी होगी।