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Diwali 2020 : दिवाली पर जलने वाले पटाखे बन सकते है स्ट्रोक और हार्ट अटैक का कारण, ऐसे बरते सावधानी

fire crackers

हम सब को पता है की दिवाली में पटाखे फोड़ने के बाद प्रदुषण का स्तर कितना बढ़ जाता है। दिवाली की धूम-धड़ाम के बीच स्वास्थ्य से जुड़ी समस्याओं से अपने आप को बचा के रखे। इसके अलावा पटाखों से बुजुर्ग व बीमार लोग अपनी स्वास्थ्य की देखभाल करें। रोशनी का त्योहार दिवाली अपने साथ बहुत सारी खुशियां लेकर आता है, लेकिन दमा, सीओपीडी या एलर्जिक रहाइनिटिस से पीड़ित मरीजों की समस्या इन दिनों बढ़ जाती है।

पटाखों में मौजूद छोटे कण सेहत पर बुरा असर डालते हैं, जिसका असर फेफड़ों पर पड़ता है। इस तरह से पटाखों के धुंए से फेफड़ों में सूजन आ सकती है, जिससे फेफड़े अपना काम ठीक से नहीं कर पाते और हालात यहां तक भी पहुंच सकते हैं कि ऑर्गेन फेलियर और मौत तक हो सकती है। ऐसे में धुएं से बचने की कोशिश करें।

स्ट्रोक और हार्ट अटैक का खतरा –

पटाखों के धुएं से हार्टअटैक और स्ट्रोक का खतरा भी पैदा हो सकता है। पटाखों में मौजूद लैड सेहत के लिए खतरनाक है, इसके कारण हार्टअटैक और स्ट्रोक की आशंका बढ़ जाती है। जब पटाखों से निकलने वाला धुंआ सांस के साथ शरीर में जाता है तो खून के प्रवाह में रुकावट आने लगती है।

दिमाग को पर्याप्त मात्रा में खून न पहुंचने के कारण व्यक्ति स्ट्रोक का शिकार हो सकता है। इसके अलावा अनचाही आवाज मनोवैज्ञानिक असर पैदा करती है। शोर तनाव, अवसाद, उच्च रक्तपचाप, सुनने में परेशानी, टिन्नीटस, नींद में परेशानी आदि का कारण बन सकता है।

श्वासं के जरिये ये जहरीला धुंआ फेफड़ों में जा कर जमने लगता है वहीं श्वास रोगियों को दमा और एलर्जी की समस्या का सामना करना पड़ता है। पटाखे हमारे स्वास्थ्य और पर्यावरण दोनों को बेहद नुकसान पहुंचते हैं। ऐसे में हेल्थ का कैसे ख्याल रखा जाए और इससे होने वाली परेशानी से कैसे निपटा जाएं आइए जानें।

 

बरते सावधानी –

एलर्जी और धुंए से बचने के लिए अपने मुंह पर रूमाल या मास्क लगाना शुरू करें। कोशिश करें कि ये मास्क आप मेडिकल स्टोर से लें और नैनो पार्टिकल्स से बचाने वाले ये मास्क हों।

अगर आप अस्थमा पेशंट है तों अपने साथ हमेशा इन्हेलर रखें।खुद को धुंए से बचाने के लिए घर में रहें।

दिवाली के दिन पटाखों को बजने से पहले ही अपने घर के दरवाजे और खिड़कियां बंद कर दें। ताकि घर के अंदर की हवा सुरक्षित रहे और बाहर से पॉल्यूशन घर में न आए।

ऑक्सिजन बढ़ाने वाले पौधे घर में लगाएं। साथ ही ऐसे पौधे भी लगांए जो हानिकारक गैसों को सोख लेते हों।

दिवाली के दौरान पटाखों व प्रदूषण को लेकर सावधानी बरतनी चाहिए। छोटे बच्चों, बुजुर्गों और बीमार लोगों को अपने आप को बचा कर रखे। इसके साथ ही दिल के मरीजों को भी पटाखों से बचकर रहना चाहिए। इनके फेफड़ें बहुत नाजुक होते हैं। कई बार बुजुर्ग और बीमार व्यक्ति पटाखों के शोर के कारण दिल के दौरे का शिकार हो जाते हैं। कुछ लोग तो शॉक लगने के कारण मर भी सकते हैं। ऐसे में कोशिश करें कि पटाखें न जलाएं या फिर कम पटाखे फोड़ें।

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