लखनऊ: उत्तर प्रदेश में कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर पर नियंत्रण पाने के बाद अब योगी सरकार तीसरी लहर से निपटने की तैयारी में तेजी से जुटी हुई है। सरकार ने कोरोना की तीसरी लहर से बचाव के लिए चक्रव्यूह तैयार कर लिया है।
राज्यस्तरीय स्वास्थ्य विशेषज्ञ परामर्श समिति की संस्तुतियों पर मुख्यमंत्री यागी आदित्यनाथ ने कोरोना महामारी से बचाव और इलाज के संबंध में गंभीरता से कार्य करने के निर्देश दिए हैं। सरकार ने कोरोना की तीसरी लहर और संचारी रोगों पर काबू पाने के लिए सभी जिलों में पूरी सक्रियता से प्रयास शुरू कर दिए हैं।
योगी सरकार का चक्रव्यूह
योगी सरकार ने कोरोना की संभावित तीसरी लहर से निपटने के लिए सैनिटाइजेशन, स्वच्छता, पीकू नीकू और मेडिकल मेडिसिन किट को चक्रव्यूह का हिस्सा बनाया है। इसी के मद्देनजर राज्य में पीकू नीकू की स्थापना और मेडिकल मेडिसिन किट बांटने की व्यव्स्थाओं को युद्धस्तर पर अंतिम रूप दिया जा रहा है।
बताया जा रहा है कि प्रदेश के सभी मेडिकल कॉलेज में जून के अंत तक 100 बेड वाले पीकू नीकू और सीएचसी-पीएचसी में 50 नए बेड की व्यवस्था कर दी जाएगी। इसके अलावा यूपी सरकार ने बच्चों की सुरक्षा और स्वास्थ्य को सुनिश्चित करने के लक्ष्य से घर-घर मेडिकल किट बांटने का विशेष अभियान शुरू किया है, जिसके तहत 27 जून से दवाएं घर-घर बांटी जाएंगी।
निगरानी समितियों को विशेष जिम्मेदारी
प्रदेश में कोरोना प्रबंधन में निगरानी समितियों की भूमिका बहुत ही अहम रही है। ऐसे में अब कोविड की तीसरी लहर के मद्देनजर प्रदेश सरकार ने इन समितियों को फिर विशेष जिम्मेदारी सौंपी है। निगरानी समितियां गांवों में भ्रमण करने के दौरान यह भी सुनिश्चित करेंगी कि कोई जरूरतमंद राशन से वंचित न रहे।
विशेषज्ञों के आंकलन के मुताबिक प्रदेश में कोरोना की संभावित तीसरी लहर से निपटने के लिए योगी सरकार प्रो-एक्टिव नीति अपना रही है। प्रदेश के सभी मेडिकल कॉलेजों में पीआइसीयू और एनआइसीयू की स्थापना का कार्य तेजी से पूरा किया जा रहा है।