- भारत खबर || दिल्ली
Hari Narayan के नाम से भगवान विष्णु को लोग मानते हैँ और उनकी पूजा करते हैं। इस कहानी के पीछे क्या राज है कभी सोचा है। इस अद्भुत संसार की रचना करने वाले भगवान विष्णु को आखिर क्यों कहते हैं हरि, नारायण Hari Narayan हम अनेकों रहस्यों से परिपूर्ण इस रचनात्मक संसार की रचना करने वाले प्रभु की स्तुति करते हैं और उस ईश्वर को असंख्य नाम से पुकारते हैं। भगवान विष्णु को कई नामों से बुलाया जाता है। इनके कुल 108 नाम हैं।
असंख्या नामों में सबसे प्रचलित हरि, नारायण Hari Narayan के नाम से पुकारते हैं । इसके अलावा भगवान विष्णु को हरि एवं लक्ष्मी नारायण अनंत नारायण आदि असंख्य नामों से पुकारा जाता है।
यह भी कहा जाता है कि
अनंत गुण ईश्वर के हैं अनंत उसके काम हैं
अनंत गुण कर्मों से ही बेहंत उसके नाम हैं
भारतवर्ष में असंख्य लोग भगवान विष्णु की पूजा आराधना करते हैं लेकिन क्या हम यह जानते हैं कि भगवान विष्णु को हरि, नारायण Hari Narayan नाम से क्यों पुकारा जाता है? आइए जानते हैं
क्यों कहा जाता है विष्णु जी को हरि, नारायण-Hari Narayan
भगवान विष्णु को हरी एवं श्री नारायण के नाम से पुकारे जाने पर एक बहु प्रचलित पौराणिक कथा है। पौराणिक कथा के अनुसार ऐसा माना जाता है कि इस जगत की रचना करने वाले भगवान विष्णु जी के कर कमलों से ही मां गंगा प्रकट हुईं। जिसे विष्णुपदोदकी नाम से जाना गया।कहा जाता है कि भगवान विष्णु इस में निवास करते हैं और जल के अंदर निवास करने वाले ईष्ट को नारायण कहा जाता है।
इसी के साथ-साथ वह हिंदू धर्म-ग्रंथों व शास्त्रों के अनुसार हरि का मतलब दुखों को हरने वाला या उन दुखों से तारने वाला है। इसी वजह से भगवान विष्णु जी को श्री हरि, नारायण Hari Narayan के नाम से भी पुकारा जाता है। पौराणिक लोगों का मानना है कि श्री भगवान विष्णु हमारे जीवन में हम से होने वाले सभी पापों को हर कर हमें पाप मुक्त कर हमें नया उन्नत जीवन जीने का वरदान देते हैं।