मंगल ग्रह के रहस्यों को जानने वैज्ञानिक लगातार मेहनत कर यही कराम है कि, जुलाई के महीने में तीन बड़े देशों ने मंगल ग्रह पर सेटेलाइट भेजे। इस बीच मंगल ग्रह को लेकर एक बड़ी खबर सामने आयी है।मंगल के ज्वालामुखी पर अजीब बादल देखे गये हैं। ह बादल न केवल एक खास जगह बनता है बल्कि खास मौसम में और उस मौसम के हर दिन कुछ घंटों के लिए बनता है और अगले दिन फिर बन जाता है।आर्सिया मान्स एलोंगेटेड क्लाउड नाम का यह बादल वैज्ञानिकों के लिए रिसर्च का विषय गया है। ज्ञानिक इस अजीब बादल के रहस्य को जानने में जुट गये हैं।
यह अजीब बादल मंगल के ज्वालामुखी के ऊपर ही बनता है लेकिन इसका इस ज्वालामुखी से इस बात के अलावा कोई संबंध नही हैं।यह ज्वालामुखी मंगल के मशहूर ओलम्पिस मोन्स पर्वत के दक्षिणपूर्व इलाके में स्थित है।इस ज्वालामुखी के ऊपर आते जाते इस बादल का निर्माण यह ज्वालामुखी नहीं करता। मंगल ग्रह पर देख रहे ये बाद बेहद ही खूसबूरत हैं।वैज्ञानिक इन बादलों ता इंतजार लंबे समय से कर रहे थे। बादलो के सामने आने से उनका इंतजार खत्म हो चुका है।
इस बादल को लेकर हरनान्डेज-बर्नाल का कहना है, “ये लंबे बादल मंगल में हर साल उसके इस मौसम में बनते हैं।जब सूर्य दक्षिण की ओर ज्यादा दिखने लगता है और यह 80 दिनों या उससे ज्यादा के समय का मौसम होता है, जबकि हम अभी तक यह नहीं जान पाए हैं कि ये बादल हमेशा से ही इतने आकर्षक बने रहते हैं या नहीं।
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इस बादल की लंबाई को लेकर वैज्ञानिकों का कहना है कि, यह बादल 1800 किलो मीटर लंबा बादल है। ये बाद क्यों बनता है। इसके पीछे की वजह अभई सामने नहीं आ सकी है। इसके बारे में वैज्ञानिक जानने के लिए लगे हुए हैं।