बीजिंग। जैश-ए-मोहम्मद प्रमुख मसूद अजहर एका आतंकी घोषित कीने को लेकर लगाता चीन रास्ते का रोड़ा बना हुआ है। 22 फरवरी को भारत और चीन के बीच बातचीत होनी है जिसमें ऐसे कयास लगाए जा रहे हैं कि मसूद को लेकर इस बातचीत में फैसल लिया जा सकता है, वहीं बीतचीत से पहले चीन ने कहा है कि मसूद अजहर को संयुक्त राष्ट्र में प्रतिबंधित करने के लिए उसे ठोस साक्ष्य चाहिए।
चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता गेंग सुआंग ने संवाददाताओं को बताया कि विदेश सचिव एस जयशंकर और चीन के कार्यकारी उप विदेश मंत्री झांग येसुई 22 फरवरी को बीजिंग में नये दौर की रणनीतिक वार्ता करेंगे। उन्होंने बताया कि रणनीतिक वार्ता के दौरान दोनों पक्ष अंतरराष्ट्रीय हालात और आपसी हितों से जुड़े अन्य क्षेत्रीय और वैश्विक मुद्दों पर चर्चा करेंगे। रणनीतिक वार्ता को भारत और चीन के बीच संचार और संपर्क का अहम मंच माना जाता है। अजहर के मुद्दे और परमाणु आपूर्तिकर्ता समूह में भारत के प्रवेश समेत कई अन्य मुद्दों को लेकर द्विपक्षीय संबंधों में टकराव से जुड़ी खबरों के बारे में पूछे जाने पर गेंग ने कहा कि मतभेद केवल स्वाभाविक है।