देहरादून। उत्तराखंड की त्रिवेंद्र रावत सरकार ने प्रदेश के विकास के लिए कैबिनेट बैठक में विस्तार से चर्चा की। बैठक में प्रदेश के विकास से जुड़े 17 बिंदुओं को लेकर चर्चा की गई और इन 17 बिंदुओं को सरकार ने हरी झंडी दिखा दी है। वहीं इस दौरान विधायक चैम्पियन की नाराजगी को लेकर सरकार के प्रवक्ता ने कहा कि इसको लेकर बातचीत की जाएगी। उन्होंने कहा कि कैबिनेट मीटिंग में कई प्रस्तावों के साथ केदरानाथ के कामों को लेकर भी प्रस्ताव पास किया गया है। इसके अलावा प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत एमडीडीए नए आवास बनाएगा।
कैबिनेट बैठक में सरकार ने न्याय विभाग को देहरादून में दी जाने वाली जमीन के दायरे को बढ़ाने का प्रस्ताव रखा है। नैनीताल में वर्ग ३ और वर्ग ४ की ज़मीनों को फ़्री होल्ड कराने के सरकार ने 6 महीने का समय दिया है। वहीं नजूल भूमि को लेकर जो मामला लटका पड़ा था उसे कैबिनेट ने पास करते हुए नई नजूल नीति बनाए जाने का ऐलान किया है,ताकि इसका लाभ सीधेतौर पर पट्टेधारकों को मिल सके। कैबिनेट बैठक में हुई चर्चा को लेकर राज्य सरकार के प्रवक्ता मदन कौशिक ने कहा कि उत्तराखंड में कम से कम 500 नए स्टार्ट अप का निर्माण किया जाएगा।
इस नीति के अंतर्गत सरकार ने कृषि, स्वास्थ्य, जल प्रद्यौगिकी, पर्यटन, शिक्षा का क्षेत्र खाद्यय प्रसंस्करण और आयुश को रखा है, जोकि राज्य में स्टार्ट अप का विकास करेगा। इन सब की पूर्ति के लिए स्टार्ट अफ काउंसिल बनाई जाएगी और उसके तहत चुने गए स्टार्ट अप स्टाफ की ट्रेनिंग के लिए हर महीने 10 हजार रुपये खर्च किए जाएंगे और एससी-एसटी पर 15 हजार रुपये प्रतिमाह खर्च किए जाएंगे। इसके अलावा इन लोगों को चुनने के बाद सरकार इन्हें पांच लाख रुपये की सहायता देगी। सरकार के प्रवक्ता ने कहा कि एसटी-एसटी और महिलाओं को चुनने के बाद साढे़ सात लाख रुपये की आर्थिक सहायता दी जाएगी।
कौशिक ने कहा कि स्टार्ट अप को पेंटेंट कराने के लिए एक लाख रुपये दिया जाएगा और अंतर्राष्ट्रीय पेंटेंट के लिए पांच लाख रुपये दिए जाएंगे। इसके अलावा इसको शुरू करने के बाद अगले तीन वर्षों का खर्चा सरकार उठाएगी, जिसके तहत सरकार प्रतिवर्ष एक लाख रुपये मुहैया करवाएगी। उन्होंने कहा कि सरकार का उद्देश्य रोजगार देने की बजाए रोजगार देने के लिए युवाओं को तैयार करना है, ताकि उनके साथ-साथ जो स्टार्ट अप से नहीं जुड़ा है उसे भी रोजगार मिल सके।