लखनऊ। यूपी की योगी सरकार ने प्रदेश की जनता को राहत देते हुए एक बड़ा फैसला लिया है। इसके मुताबिक, प्रदेश के अस्पतालों में आने वाले मरीजों का इलाज अब वैसे ही शुरू किया जाएगा, जैसे कोरोना काल से पहले हुआ करता था।
नहीं ले जानी पड़ेगी कोरोना रिपोर्ट
इसका मतलब है कि डॉक्टर को दिखाने से पहले मरीजों को किसी तरह की औपचारिकता करने की जरूरत नहीं होगी। मरीजों को अब डॉक्टर को दिखाने के लिए कोविड जांच रिपोर्ट नहीं ले जानी पड़ेगी। बिना कोरोना रिपोर्ट के ही सरकारी अस्पतालों में डॉक्टर मरीजों को देख पाएंगे। यह जानकारी मुख्यमंत्री कार्यालय की ओर से दी गई है।
स्वास्थ्य सेवाएं पूर्व की तरह संचालित करने का निर्देश
शुक्रवार को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देशानुसार, सीएमओ ने ट्वीट में लिखा, कोविड-19 की स्थिति प्रदेश में नियंत्रित है, एक्टिव केस में लगातार गिरावट हो रही है। प्रदेश में सभी प्रकार की स्वास्थ्य सेवाएं कोविड-पूर्व की स्थिति के अनुसार संचालित की जाएं, मरीज हों या तीमारदार सभी की जरूरतों-भावनाओं का पूरा सम्मान किया जाए।
कोविड-19 की स्थिति प्रदेश में नियंत्रित है, एक्टिव केस में लगातार गिरावट हो रही है। प्रदेश में सभी प्रकार की स्वास्थ्य सेवाएं कोविड-पूर्व की स्थिति के अनुसार संचालित की जाएं, मरीज हों या तीमारदार सभी की जरूरतों-भावनाओं का पूरा सम्मान किया जाए: #UPCM श्री @myogiadityanath जी
— CM Office, GoUP (@CMOfficeUP) February 12, 2021
आपको बता दें कि सरकार के इस फैसले से प्रदेशवासियों को बहुत राहत मिलेगी। कोरोना संकट में सरकारी मेडिकल कॉलेजों और विश्वविद्यालयों में इलाज से पहले बहुत मशक्कत करनी पड़ती थी। अब इस आदेश के बाद मरीजों और तीमारदारों के सामने आने वाली ये झंझट खत्म हो जाएगी।
कोविड नियमों का होता रहेगा पालन
हालांकि, चिकित्सा शिक्षा विभाग के एक बड़े अधिकारी का कहना है कि हैंड सैनिटाइजर का इस्तेमाल और सोशल डिस्टेंसिंग का वैसे ही पालन किया जाता रहेगा, जैसे कोरोना काल के समय से होता आ रहा है। वहीं, कोरोना के मरीजों के लिए अलग से एक वार्ड की व्यवस्था बनी भी रहेगी और अगर मरीजों की संख्या बढ़ती है तो ज्यादा वार्ड बनाए जाने के निर्देश दिए गए हैं।