चाचा शिवपाल यादव के बाद अब अखिलेश यादव को आजम खान के समर्थकों की नाराजगी का भी सामना करना पड़ रहा है।
सीतापुर जेल में बंद आजम खान के करीबी और मीडिया सलाहकार फसाहत अली ने अखिलेश यादव पर आरोप लगाया है कि उन्होंने आजम खान के लिए न तो संसद में और न ही विधानसभा में आवाज उठाई।
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फसाहत अली के इस बयान के बाद उत्तर प्रदेश के सियासी गलियारों में अटकलों का बाजार तेज हो गया है। कयास लगाए जा रहे हैं कि शिवपाल की तरह ही आजम खान भी अखिलेश यादव से दूरी बना सकते हैं।
अखिलेश को हमारे कपड़ों से आती है बदबू – आजम खान
आपको बता दें कि फसाहत खान सानू ने रविवार देर रात रामपुर में पार्टी दफ्तर में आजम खान के समर्थकों की एक बैठक में ये टिप्पणी की। फसाहत ने कहा कि हमने अखिलेश और मुलायम सिंह यादव को यूपी का मुख्यमंत्री बनाया लेकिन उन्होंने आजम खान को नेता प्रतिपक्ष नहीं बनाया। वो सिर्फ एक बार उनसे जेल में मिलने गए।
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक आजम खान इस बात से नाराज हैं कि सिवाय एक बार के अखिलेश यादव उनसे सीतापुर जेल में मिलने नहीं गए। जहां वह फरवरी 2020 से बंद हैं। आजम खान ने 2022 का उत्तर प्रदेश विधान सभा चुनाव लड़ा और सीतापुर जेल में सलाखों के पीछे से 10वीं बार रामपुर सीट जीती। फसाहत ने कहा कि आजम खान के इशारे पर न सिर्फ रामपुर में बल्कि कई जिलों में भी मुसलमानों ने सपा को वोट दिया। लेकिन सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष ने मुसलमानों का पक्ष नहीं लिया।
CM Yogi’s comment was right that Akhilesh Yadav doesn’t want Azam Khan to be out (of jail). We made you&Mulayam Yadav UP CM but you didn’t make Azam Khan as leader of Opposition. You only went once to meet him in the jail: Azam Khan’s media in-charge Fasahat Ali Khan Sanu (10.04) pic.twitter.com/DoyoXMen0x
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) April 11, 2022
पिछले दो साल से जेल में बंद हैं आजम
आजम खान दो साल से ज्यादा समय से जेल में हैं। लेकिन सपा अध्यक्ष केवल एक बार जेल में उनसे मिलने गए। इतना ही नहीं पार्टी में मुसलमानों को महत्व नहीं दिया जा रहा है। फसाहत ने आगे कहा कि अब लगता है कि अखिलेश यादव को हमारे कपड़ों से बदबू आ रही है। दिलचस्प बात यह है कि एक दिन पहले सपा सांसद शफीकुर्रहमान बर्क ने भी आरोप लगाया था कि सपा मुसलमानों के लिए काम नहीं कर रही है।