मुंबई। संजय लीला भंसाली की फिल्म पद्मावत ने जिस तरह का विरोध सहा वैसा विरोध शायद ही किसी फिल्म का हुआ हो। इस फिल्म का सबसे कड़ा विरोध करणी सेना ने किया था। फिल्म को करणी सेना के विरोध के चलते सुप्रीम कोर्ट तक पहुमचाया गया जहां इसे हरी झंडी मिली।अब करणी सेना के दो प्रमुख ने भी इस फिल्म को हरी झंडी दे दी।
करणी सेना के दो इतिहासकारों ने फिल्म को हरी झंडी दे दी है। उनका कहना है कि फिल्म में कुछ भी गलत नहीं है, जिससे किसी की भावना को ठेस लगे। इसके साथ ही उन्होंने यह भी साफ किया कि यह उनकी अपनी राय है ना कि समुदाय की।पद्मावत की रिलीज तय करने के लिए 6 सदस्यों के पैनल का गठन हुआ।
6 सदस्यों की इस टीम में 2 इतिहासकारों ने इस फिल्म को हरी झंडी दे दी। सोमवार को फिल्म देखने के बाद इन दोनों सदस्यों ने कहा कि फिल्म में कुछ भी गलत नहीं है। उनका कहना है कि फिल्म किसी भी समुदाय की भावनाओं को चोट नहीं पहुंचाती है।