नोएडा। अक्सर लोग कहते हैं कि इंसान के दिल का रास्ता पेट से होकर जाता है। फिर चाहे वो कोई भी क्यों ना हो। अच्छा खाना खाना किसे पसंद नहीं होता फिर चाहे वो खाना घर पर बना हो या फिर किसी भी खास रेस्टोरेंट का। लेकिन आज हम आपको एक ऐसे रेस्टोरेंट के बारे में बताने जा रहे है जिसके बारे में जानकार आप भी कहेंगे “सपने वो नहीं होते जो हम नींद में देखते है बल्कि सपने वो होते है जो आपको सोने नहीं देते।”
नोएडा सेक्टर 41 में सपनों का एक ऐसा ही खाना खजाना है जिसका नाम ‘इंजीनियर्स दा ढाबा’ है। अब आप सोच रहे होंगे कि आखिर इस रेस्टोरेंट का नाम इंजीनियर्स क्यों रखा गया…अरे जनाब वो इसलिए क्योंकि इसे किसी कारोबारी ने नहीं बल्कि तीन इंजीनियर दोस्तों ने मिलकर खोला है। लोग कहते है कि दोस्ती दुनिया की सबसे अनमोल चीज होती है अगर आपके पास ये है तो आप दुनिया के सबसे अमीर व्यक्ति है ऐसे में अगर आप इस ढाबे के पीछे की कहानी को सुनेंगे तो कहेंगे ‘ये खाने की दोस्ती हम ना छोड़ेगें’।
औरों की तरह ही तीन दोस्त खाने के बड़े शौकीन थे और उन्हें अलग-अलग रेस्टोरेंट में जाकर खाने की वैराइटी टेस्ट करने का शौख था और एक दिन बातों-बातों में कहीं गई बात इन तीनों को इंजीनियर के साथ-साथ एक रेस्टोरेंट का मालिक भी बना गई। हालांकि इन तीनों दोस्तों के लिए भी ये सब करना काफी आसान नहीं था लेकिन वो कहते है ना, ‘जहां चाह वहां राह’ तो बस इनके साथ भी यही हुआ। हालांकि इन तीनों दोस्त इंजीनियर है और मल्टीनेशनल कंपनी में अच्छी सैलरी पर काम भी कर रहे है।
इन तीनों दोस्तों ने इस साल की शुरुआत में अपने रेस्टोरेंट को खोला। हालांकि इसकी प्लानिंग साल 2016 के आखिर में करनी शुरु कर दी थी। इन तीनों दोस्तों के नाम शोभना गर्ग, विपिन विंदल और अमित गर्ग है। वहीं अपने इस ड्रीम प्रोजेक्ट के बारे में बात करते हुए शोभना ने कहा कि ऑफिस और रेस्टोरेंट को मैनेज करना थोड़ा मुश्किल हो जाता है लेकिन उनकी कोशिश यही रहती है कि वो दिन में कम से कम एक बार अपने रेस्टोरेंट में विजिट करें और वहां की सभी जरुरतों का ख्याल रखें।
(शिप्रा सक्सेना)