लखनऊ। यूपी की सत्ता अपने हाथ में थामे योगी आदित्यनाथ को भले ही महज 9 दिन बीते है लेकिन इन कुछ दिनों में योगी अब तक 50 से ज्यादा बड़े फैसले ले चुके है। इन फैसलों में सबसे ज्यादा सुर्खियों बटोरने वाला उनका एक फैसला अवैध बूचड़खआनों को बंद करना है। हालांकि इस फैसले के चलते नए नवेले सीएम को कई आलोचनाओं का सामना भी करना पड़ रहा है जिससे बाद मुख्यमंत्री ने एक बयान जारी कर उन सभी अफवाहों पर विराम लगा दिया है।
दरअसल बूचड़खानों को बंद करने के फरमान को लेकर मीट कारोबारियों ने अनिश्चतकालीन हड़ताल का ऐलान कर दिया है और वो सरकार के इस फैसले की निंदा कर रहे हैं। इसी बीच मुख्यमंत्री ने बूचड़खाने को लेकर नए निर्देश जारी किए है। उन्होनें कहा है कि वैध बूचड़खाने के खिलाफ कार्यवाही ना की जाए। वैध और तय मानकों का पालन करने वालों पर किसी भी तरह की कार्यवाही नहीं की जा रही है।
दरअसल भाजपा ने यूपी विधानसभा चुनाव के दौरान जनता से कई वायदे किए थे जिनमें से अवैध बूचड़खानों को बंद करना भी एक था। इसी के चलते सत्ता की कमान संभालते ही योगी ने यूपी में अवैध बूचड़खानों पर गाज गिरी है और लगातार उन्हें सील किया जा रहा है जिसके चलते मीट कारोबारी काफी परेशान है।
सबसे बड़ा मांस उत्पादक राज्य है यूपी:-
उत्तर प्रदेश की कुल आबादी करीबन 20 करोड़ है और वो देश का सबसे बड़ा मांस उत्पादक राज्य भी है। अगर बूचड़खानों की बात की जाए तो 41 बूचड़खानों के पास लाइसेंस है जबकि बाकी बूचड़खाने अवैध की कैटेगरी में आते है जिस पर सरकार का लगातार हंटर जारी है। जानकारी के मुताबिक राज्य को इस कारोबार से हर साल करीब 110 अरब रुपये की कमाई होती है।