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CBI चीफ आलोक वर्मा के मामले पर SC ने CVC को दो हफ्ते में रिपोर्ट सौंपने का आदेश दिया

जांच एजेंसी- सीबीआई (केंद्रीय जांच ब्यूरो) के दो सीनियर अधिकारियों के बीच विवाद में केंद्र सरकार की कार्रवाई पर सुप्रीम कोर्ट ने आज खास फैसला सुनाया है।गौरतलब है कि सरकार की कार्रवाई के विरोध में सीबीआई के प्रमुख आलोक वर्मा ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल की थी। सुप्रीम कोर्ट ने आज इस याचिका पर दोनों पक्षों की तर्क सुनने के बाद केंद्रीय सतर्कता आयोग (सीवीसी) को 10 दिन या दो हफ्ते में इस मामले की जांच पूरी करने के आदेश दिए हैं। आपको बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने उक्त प्रकरण का फैसला नीचे उल्लेखित कुपछ खास तथ्यों के आधार पर किया है।

 

CBI चीफ आलोक वर्मा के केस पर SC ने  CVC को दो हफ्ते में मामले रिपोर्ट सौंपने को कहा
CBI चीफ आलोक वर्मा के केस पर SC ने CVC को दो हफ्ते में मामले रिपोर्ट सौंपने को कहा

इसे भी पढ़ेःसीबीआई विवाद: आलोक वर्मा की याचिका पर आज सुनवाई करेगा सुप्रीम कोर्ट

उच्चतम न्यायालय की देखरेख में होगी जांच

सीबीआई चीफ आलोक वर्मा के मामले में सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि केंद्रीय सतर्कता आयोग (सीवीसी) इस मामले पर दो सप्ताह के भीतर अपनी जांच पूरी करे।कोर्ट ने कहा कि सीवीसी मामले की जांच सुप्रीम कोर्ट के रिटायर्ड जज एके पटनायक की निगरानी में करेगा।वर्मा के केस की सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि सीवीसी की जांच पूरी होने तक सरकार द्वारा नियुक्त किए गए अंतरिम निदेशक एम. नागेश्वर राव कोई भी नीतिगत निर्णय नहीं लेंगे। साथ ही कोर्ट ने कहा कि देश हित में ‘मामले को और लंबा नहीं खींचा जा सकता’ है।

सुप्रीम कोर्ट के आदेश में कहा गया है कि सीबीआई के कि अंतरिम डायरेक्टर एम.नागेश्वर राव द्वारा किए गए अभी तक के सभी फैसलों की जानकारी केंद्र सरकार 12 नवंबर तक सुप्रीम कोर्ट को सीलबंद पैकेट में दे।आपको बता दें कि सीवीसी के वकील तुषार मेहता ने मामले की जांच के लिए तीन हफ्तों का समय मांगा। जिसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने जांच के लिए समय बढ़ाकर 2 हफ्ते कर दिया। सुप्रीम कोर्ट ने सीवीसी के वकील तुषार मेहता की तीन हफ्ते देने की दलील को यह कहते हुए खारिज कर दिया कि इस मामले को और लंबा नहीं खींचा जा सकता।किस आधार पर वर्मा को छुट्टी पर भेजा गया’

 केस में दिल्ली स्पेशल पुलिस इस्टेबलिशमेंट एक्ट लागू होना चाहिए-फली एस नरीमन

मामले में सीबीआई चीफ आलोक वर्मा को छुट्टी पर भेजे जाने का विरोध करते हुए उनके वकील फली एस नरीमन ने कहा कि इस मामले में दिल्ली स्पेशल पुलिस इस्टेबलिशमेंट एक्ट लागू होना चाहिए। वकील नरीमन ने कहा कि एक वरिष्ठ अधिकारी को रातों-रात कैसे हटाया जा सकता है। सीबीआई चीफ आलोक वर्मा के वकील की दलील पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार को नोटिस जारी कर पूछा कि किस आधार पर आलोक वर्मा को छुट्टी पर भेजा गया? यह स्पष्ट किया जाए।

बता दें कि आलोक वर्मा की याचिक पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने केंद्रीय सतर्कता आयोग (सीवीसी), केंद्र सरकार और सीबीआई के विशेष निदेशक राकेश अस्थाना को नोटिस जारी किया।सुप्रीम कोर्ट ने सीवीसी, केंद्र सरकार और राकेश अस्थाना को नोटिस जारी करते हुए कहा कि इस मामले की अगली सुनवाई दिवाली के बाद 12 नवंबर को होगी।

महेश कुमार यादव

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