जी साथियान ने मंगलवार को यहां 82वीं राष्ट्रीय टेबल टेनिस चैम्पियनशिप के फाइनल में नौ बार के चैंपियन शरत कमल को 4-2 से हराकर राष्ट्रीय खिताब का अपना लंबा इंतजार खत्म किया. साथियान को कुछ साल पहले कटक में फाइनल में शरत के खिलाफ हार का सामना करना पड़ा था लेकिन इस बार उन्होंने दुनिया के 32वें नंबर के खिलाड़ी को वापसी का मौका नहीं दिया और 116, 117, 10-12, 7-11, 118, 118 से जीत दर्ज की.
क्या मिला ईनाम?
साथियान को खिताबी जीत के लिए दो लाख 50 हजार रुपये की इनामी राशि मिली.
जीत के बाद जी साथियान ने क्या कहा?
उन्होंने खिताब जीतने के बाद कहा कि तीसरी बार में मैं भाग्यशाली रहा. मेरे कंधे से बड़ा बोझ उतर गया. मैं कटक में नहीं चूका. साल 2014 में पुड्डुचेरी में और वर्ष 2015 में हैदराबाद में भी बेहतरीन खेलने के बावजूद भाग्य ने मेरा साथ नहीं है. इस टूर्नामेंट में ढ़ाई लाख की प्राइज मनी के साथ मैं ढेर सारी खुशियां भी अपने साथ घर लेकर जा रहा हूं.
शरत ने हार की ये बताई वजह
वहीं शरत ने कहा कि यह अच्छा मुकाबला था और वह जीत का हकदार था. शरत ने हार के लिए पांचवें गेम में एकाग्रता गंवाने को जिम्मेदार ठहराया जबकि वह 8-6 से आगे चल रहे थे. उस समय दो बड़ी गलतियों का खामियाजा मुझे भुगतना पड़ा लेकिन साथियान ने तीसरे गेम में मुझे वापसी का मौका दिया. यह खेल का हिस्सा है. मुझे उसके लिए खुशी है. इससे पहले शरत ने सेमीफाइनल में मानव ठक्कर को 118, 5-11, 14-12, 119, 9-11, 17-15 से हराया जबकि साथियान ने एसएफआर स्नेहित को 13-11, 115, 119, 115 से शिकस्त दी.
इस हार के बाद शरथ कमल ने बताया कि यह अच्छा मैच था. जी साथियान बेहतर खेले, इसलिए वह नेशनल चैंपियन बने. पांचवे सेट में जब में 8-6 से लीड कर रहा था, तो मेरा ध्यान भटक गया. जिसका खमियाजा मुझे हार से भुगतना पड़ा. यह खेल का हिस्सा है और मेरी शुभकामनाएं जी साथियान के साथ हैं. मैं फिर वापसी करूंगा और यकीनन 10वां टाइटल जीतूंगा.