10 जुलाई को अमरनाथ यात्रियों पर हुए हमले को लेकर पुलिस ने कई सारे खुलासे किए हैं। जम्मू कश्मीर पुलिस के मुताबिक इस हमले में लश्कर का हाथ है, जिसके तीन आतंकियों को गिरफ्तार भी किया गया है। जिसमें से दो पाकिस्तान से और एक कश्मीर से है। पुलिस ने बताया है कि इस हमले का मास्टरमाइंड अबू इस्माइल और उसके साथ अभी भी पुलिस की गिरफ्तर से बाहर हैं। सूत्रों के हवाले से खबर है कि पुलिस ने आतंकियों के मॉड्यूल का भंडाफोड़ किया है।
दक्षिण कश्मीर पुलिस के हत्थे अंडर ग्राउंड वर्कर्स चढ़े हैं जिन्हें पुलिस बिना हथियार के आंतकी बुला रही है। पुलिस ने कॉल डीटेल्स से पूरी वारदात की गुत्थी को सुलझाया है। सूत्रों के अनुसार अमरनाथ यात्रियों पर हमला करने के लिए फंडिंग भी की गई थी, आतंकियों को पुलिस से बचाने के लिए कई लोगों ने आतंकियों की मदद की थी। सूत्रों के हवाले से खबर है कि पुलिस और सेना से बचाने के लिए आतंकियों को लोगों के घरों और नालियों तक में भी छिपाया गया था। सूत्रों के हवाले से खबर है कि आतंकी आपस में बात करने के लिए किन्ही खास शब्दों का इस्तेमाल किया करते थे।
जानकार अनुसार पाकिस्तान आतंकी और इस हमले का मास्टर माइंड अबु इस्माइल कुछ साल पहले ही घाटी में घुसा था। जानकारी है कि वह कई इलाकों में आतंकी घटनाओं को अंजाम दे चुका है। सूत्रों के हवाले से यह भी खबर है कि अबु इस्माइल नोटबंदी के वक्त कश्मीर में बैंक और एटीएम लूट की वारदात में भी शामिल था।
पुलिस ने बताया है कि 9 जुलाई को आतंकियों का इस घटना को अंजाम देने का प्लान था लेकिन इस दिन आतंकियों के लिए सीआरपीएफ की सुरक्षा कोफी बड़ा रोड़ा बन रही थी। आतंकियों को इस दिन अपने निशाने पर लेने के लिए कोई मिल नहीं रहा था इसलिए आतंकियों ने 10 जुलाई को अपने घटिया मनसूबों को शिखर तक पहुंचाने के ठान ली थी। सूत्रों के हवाले से दक्षिण कश्मीर पुलिस ने आतंकियों के जत्थे को गिरफ्तार किया है। पुलिस द्वारा इन्हें बिना हथियार के आतंकियों के नाम से पुकारा जा रहा है।