‘आसानी से उपलब्ध होने वाले सभी भोजन आपने शरीर के लिए अच्छे नहीं होते’, इस तरह के एक खाद्य आइटम आसानी से लगभग हर घर में पाया जाता है और वो है सफेद रोटी यानि ब्रेड।
भले ही यह आसानी से सुलभ है और हमारे देश में कई लोगों के खाने की आदतों में मिल गया है, विशेष रूप से नाश्ते के दौरान, लेकिन यह एक स्वस्थ खाने का विकल्प नहीं है।
सफेद रोटी कैसे बनाई जाती है?
सफेद ब्रेड को गेहूं के आटे से तैयार किया जाता है जिससे चोकर और रोगाणु की परतें निकल जाती हैं और उन्हें अलग रख दिया जाता है। साबुत गेहूं जो किसी भी रोटी का सबसे स्वास्थ्यप्रद घटक है, आटा पीसने या मिलिंग प्रक्रिया के हिस्से के रूप में हटा दिया जाता है, जो हल्के रंग का आटा पैदा करता है। फिर सभी प्राकृतिक तेलों, विटामिन, और सफेद रोटी के पोषक तत्वों को हटा दिया जाता है जिससे ये लंबे समय तक टिके।
सफेद रोटी आपके लिए अस्वस्थ क्यों है?
सफेद ब्रेड में इस्तेमाल होने वाले आटे को अक्सर इससे प्राकृतिक तेलों को लंबे समय तक चलने के लिए निकाला जाता है। वहीं ऐसा करने के लिये पोटेशियम ब्रोमेट, अजोडिकार्बोनामाइड या क्लोरीन डाइऑक्साइड गैस जैसे रसायनों का उपयोग किया जाता है। ये रसायन मोटापा, हृदय रोग और मधुमेह जैसी गंभीर स्वास्थ्य समस्याओं का कारण बन सकते हैं। साथ ही इसमें संरक्षक जोड़े जाते हैं, जो रोटी को लंबे समय तक ताजा रहने में मदद करते हैं।