लंबे समय से कोरोना महामारी ने देश ही नहीं दुनिया के लिए चुनौती खड़ी की हुई है। तमाम कोशिशों के बाद कोरोना की अभी तक कोई सफल दवाई नहीं बन सकी है। लेकिन कोरोना की दवाई बनाने के दावे बहुत किए जा रहे हैं। इस बीच भारत में भी कोरोना की दवाई बनकर तैयार हो गई है। और इसका लोगों पर प्रयोग बहुत जल्दी शुरू हो जाएगा। कोरोना की दवाई सबसे पहले एक युवा पर लगाई जाएगी। जिसकी इजाजत युवा ने खुद दी है।
चलिए आपको बताते कौन है ये लड़का?
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के स्वयंसेवक चिरंजीत धीवर ने स्वयं पर कोरोना वायरस की वैक्सीन के परीक्षण की सहमति दे दी है। भारतीय आयुवज्ञान अनुसंधान परिषद के भुवनेश्वर केंद्र पर इस वैक्सीन का मानव पर परीक्षण किया जाएगा।आइसीएमआर और भारत बायोटेक मिलकर कोरोना की वैक्सीन बना रहे हैं। 15 अगस्त को इस वैक्सीन की लांचिंग की तैयारी है। इसके लिए आइसीएमआर और भारत बायोटेक मानवीय टेस्ट शुरू करने जा रहे हैं।
चिरंजीत धीवर बंगाल के दुर्गापुर में स्कूल में अध्यापक हैं. साथ ही, आरएसएस की अनुषांगिक संगठन अखिल भारतीय राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ की प्राथमिक इकाई के राज्यस्तरीय कमेटी में सदस्य हैं।चिरंजीत ने कहा कि उन्हें यह प्रेरणा संघ की शाखा से ही मिली है। कहा कि परीक्षण इंसान पर होना है। आखिर किसी न किसी को आगे आकर जोखिम उठाना ही पड़ेगा, फिर मैं क्यों नहीं। यह मानव जाति और देश की सेवा की एक कोशिश है। और मैं इसके लिये तैयार हूं।
उम्मीद की जा रही है कि, अगर ये दवाई परीक्षण में पास हो जाती है तो देश को कोरोना से रहात मिल जाएगी। क्योंकि कोई दवाई न होने की वजह से कोरोना के मरीजों की संख्या लगातार बढ़ती ही जा रही है। जिससे उनकी मौत भी हो रही है। लेकिन इसस दवाई के आने से लोगों को राहत मिल पायेगी।