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आतंकी साजिश के खुलासे को गृहमंत्री ने बताया बड़ी कामयाबी, NIA को दी बधाई

गृहमंत्री राजनाथ सिंह आतंकी साजिश के खुलासे को गृहमंत्री ने बताया बड़ी कामयाबी, NIA को दी बधाई

एनआईए (नेशनल इनवेस्टिगेटिव एजेंसी) द्वारा 10 संदिग्ध आतंकियों की गिरफ्तारी पर केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने इसको बड़ी उपलब्धि बताया है। गृहमंत्री ने कहा कि एनआईए की ये बहुत बड़ी कामयाबी है। राजनाथ सिंह ने एनआईए को इस सफलता के लिए बधाई दी है। एनआईए ने भारत में इस्लामिक स्टेट के एक बड़े मॉड्यूल ‘हरकत उल हर्ब ए इस्लाम’ की बड़ी आतंकी साजिश का पर्दाफाश किया है। आपको बता दें कि बुधवार को NIA ने 10 संदिग्धो को आतंकी साजिश के आरोप में गिरफ्तार किया है।

 

गृहमंत्री राजनाथ सिंह आतंकी साजिश के खुलासे को गृहमंत्री ने बताया बड़ी कामयाबी, NIA को दी बधाई
आतंकी साजिश के खुलासे को गृहमंत्री ने बताया बड़ी कामयाबी, NIA को दी बधाई

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गौरतलब है कि पकड़े गए संदिग्ध दिल्ली में 26 जनवरी के पहले बड़े पैमाने पर हमले की तैयारी में जुटे थे। आतंकी आरोपियों के पास से बड़ी मात्रा में हथियारों का जखीरा बरामद हुआ है। जिसमें बम बनाने का सामान, रॉकेट लॉन्चर और हथियार मिले हैं। इसकी जानकारी NIA ने प्रेस कॉन्फ्रेंस करके दी है। एनआईए के आईजी, आलोक मित्तल ने के मुताबिक 10 लोगों को गिरफ़्तार किया गया है। गिरफ्तार किए गए संदिग्धों में से 5 दिल्ली के और 5 उत्तर प्रदेश के रहने वाले हैं। इन आतंकी आरोपियों के पास से बड़ी मात्रा में हथियार बरामद हुए हैं।

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एनआईए के मुताबिक संदिग्ध आतंकी बड़ी साज़िश को अंजाम देने वाले थे। एनआईए ने कहा कि ये लोग जल्द हमला करने वाले थे और रिमोट कंट्रोल से ब्लास्ट की तैयारी थी। एक ग्रेनेड लॉन्चर, 17 पिस्तौल, 25 किलो केमिकल, 120 अलार्म घड़ियां बरामद हुई हैं। NIA के अनुसार फिदायीन हमले की भी तैयारी थी और ‘फिदायीन हमले के लिए आतंक के आरोपी जैकेट बना रहे थे।

गौरतलब है कि बुधवार की सुबह लगभग 4 बजे जब लोग सो रहे उस वक्त एनआईए, दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल और यूपी एटीएस की कई टीमें एक साथ दिल्ली और यूपी में आतंकी संगठन इस्लामिक स्टेट के नए मॉड्यूल ‘हरकत उल हर्ब ए इस्लाम’ से जुड़े लोगों के ठिकानों पर छापेमारी कर रही थीं। मालूम हो कि छापेमारी दिल्ली के जाफराबाद में 6 जगहों, इसके अलावा मेरठ, अमरोहा, लखनऊ और हापुड़ में 17 जगहों पर पूरे दिन चलती रही। छापेमारी में लगभग 150 लोग शामिल थे। कुल 16 संदिग्ध पकड़े गए जिसमें दिल्ली से 5 और यूपी से 5 लोगों को गिरफ्तार कर लिया गया।

एनआईए के आईजी आलोक मित्तल के के अनुसार आतंकी मॉड्यूल 4 महीने से तैयार हो रहा था। उन्होंने कहा कि इस साजिश की जानकारी थी और 20 दिसंबर को इस मामले में कई धराओं के तहत केस दर्ज किया गया था। एनआईए के की मानें तो आतंकी मॉड्यूल का मास्टरमाइंड मोहम्मद सोहैल मुफ़्ती है। मोहम्मद सोहैल मुफ़्ती जाफराबाद का ही रहने वाला है, लेकिन वह अभी तक अमरोहा में मौलवी के तौर पर काम कर रहा था। इस आतंक के आरोपी मौलवी को अमरोहा से गिरफ्तार किया गया है।

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बताया जा रहा है कि सोहैल ही इस ग्रुप का मोटिवेटर है जो विदेश में बैठे आईएस के एक हैंडलर के संपर्क में था। इसके अलावा दिल्ली के जाफराबाद से ही आजम, अनस, जाहिद, जुबेर मलिक और ज़ैद मलिक को गिरफ्तार किया गया है। सभी पड़ोसी हैं और आसपास जाफराबाद की अलग-अलग गलियों में रहते हैं। इस कार्रवाई के दौरान भारी भीड़ थी, जिस देखते हुए बड़ी संख्या में पुलिसबल लगाया गया था।

बरामद की गई सामग्री

एनआईए के अनुसार संदिग्धों के पास से 12 पिस्टल मिले हैं। 150 कारतूस मिले हैं। एक देशी लांचर मिला है। 120 के आसपास अलार्म क्लॉक मिली हैं। 51 पाइप मिले हैं, 25 किलो केमिकल जैसे पोटेशियम नाइट्रेट, अमोनियम नाइट्रेट, सल्फर और विस्फोटक बरामद हुए हैं। इस केमिकल से ये लोग बड़े पैमाने पर बम बनाने वाले थे। फियादीन और रिमोट कंट्रोल्ड बम से हमले करने की तैयारी थी। ये लोग आपस मे टेलीग्राम और वॉट्सऐप से बात करते थे। फिदायीन हमले के लिए जैकेट भी बना रहे थे। इनके पास से 100 मोबाइल , 135 सिमकार्ड व 7.5 लाख रुपए कैश मिला है। 3 लैपटॉप, तलवारें और चाकू मिले हैं।इन आरोपियों ने लोकल लेवल पर ट्रेनिंग भी ली है।

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पकड़े गए आतंकी आरोपी 26 जनवरी से पहले दिल्ली में कई सवेंदनशील जगहों और वीवीआईपी लोगों पर हमला करने की तैयारी कर रहे थे। हमले के लिए दिल्ली पुलिस मुख्यालय और आरएसएस मुख्यालय की रेकी भी की थी। अनस ने अपने घर से कुछ दिन पहले 5 लाख का सोना चोरी किया था, जिसे बेचकर हथियार खरीदे गए। हालांकि उसके घरवालों ने चोरी की कोई एफआईआर दर्ज नहीं कराई थी। इस मॉड्यूल के लिए फंड बाहर से भी आ रहा था इस की जांच की जा रही है। संदिग्धों में 29 साल का मास्टरमाइंड मोहम्मद मुफ़्ती सोहैल है। सोहैल अमरोहा के हकीम महताब उद्दीन मदरसे में मौलवी है, लेकिन वो दिल्ली के जाफरबाद का रहने वाला है।

मोहम्मद मुफ़्ती सोहैल ने ग्रुप में सभी लोगों को हमले के लिए हथियार और विस्फोटक उपलब्ध करने की जिम्मेदारी दी थी। वहीं दूसरा आरोपी 24 साल का अनस यूनुस है जो एमिटी यूनिवर्सिटी से सिविल इंजीनियरिंग कर रहा है, वो इलेक्ट्रिकल का सामान जुटाकर बम और रॉकेट लॉन्चर बनाने की तैयारी कर रहा है। तीसरा 23 साल राशिद जफर है जो गारमेंट के कारोबार में है और जाफराबाद का रहने वाला है। चौथा 28 साल का सईद है जो अमरोहा का रहने वाला है और बेल्डिंग का काम करता है। पांचवा सईद का ही भाई रईस अहमद भी अमरोहा में ल्डिंग शॉप चलाता है। इन दोनों भाइयों ने केमिकल और बम बनाने का सामान जुटाया था।

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मालूम हो  कि  6वां 20 साल का जुबेर मालिक है जो जाफरबाबद का ही रहने वाला है। जुबेर दिल्ली यूनिवर्सिटी में बीए थर्ड ईयर का छात्र है। सातवां जुबेर का भाई 22 साल का ज़ैद मालिक है जो जाफ़रबाबद का रहने वाला है, जो फ़र्ज़ी दस्तावेजों पर सिम कार्ड, बैटरी, कनेक्टर्स जुटा रहा था। आठवां 26 साल का इफ्तिखार है यूपी के हापुड़ का रहने वाला है और एक मस्जिद में इमाम है, उसने मास्टरमाइंड मोहम्मद सुहैल को हथियार जुटानें मदद की थी। जाफरबाबद से ही आज़म और जाहिद को भी गिरफ्तार किया गया है। सभी संदिग्धों का कोई आपराधिक रिकॉर्ड नहीं है। महिला से भी पूछताछ चल रही है हालांकि उसे गिरफ्तार नहीं किया है।

महेश कुमार यादव

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