नई दिल्ली। राजस्थान में छ महीनें बाद विधानसभा चुनाव आने वाले हैं लेकिन प्रदेशाध्यक्ष पद को लेकर विवाद अब भी कायम है। बता दें कि अशोक परनामी के इस्तीफा देने के बाद से अभी तक प्रदेश अध्यक्ष पद का मामला सुलझ नहीं पाया है। इसी सिलसिले में भाजपा अध्यक्ष अमित शाह और राजस्थान सीएम वसुंधरा राजे की बुधवार को दिल्ली में कोर बैठक हुई और इसी के साथ चुनावी रणनीति को लेकर भी बात हुई लेकिन प्रदेशाध्यक्ष को लेकर एक बार फिर दोनों की बैठक बेनतीजा रही। आपको बता दें कि ये कोर बैठक लगभग आधा घंटा चली और इस बैठक में प्रमुख नेता मौजूद थे
तीनों राज्यों का चुनाव जीतना बीजेपी के लिए अहम
राजस्थान में इस साल के आखिरी में विधानसभा चुनाव होने है। राजस्थान के साथ मध्य प्रदेश व छत्तीसगढ़ में भी चुनाव होने है। भाजपा के लिए ये तीनों राज्यों का चुनाव जीतना काफी अहम है। जिसको लेकर केंन्द्र ने अपनी रणनीति तय कर ली है, लेकिन राजस्थान में नए प्रदेश अध्यक्ष को लेकर पेंच फंसा हुआ है। यही वजह है कि पार्टी अध्यक्ष अमित शाह ने मध्य प्रदेश व छत्तीसगढ़ जाकर वहां के नेतृत्व व चुनाव प्रबंध समितियों के साथ बैठकें की हैं, लेकिन राजस्थान के कोर ग्रुप को दिल्ली बुलाकर विचार विमर्श किया गया है।
अध्यक्ष के मुद्दे पर विवाद
आपको बता दें कि प्रदेश अध्यक्ष को लेकर मामला अभी भी उलझा हुआ है। सूत्रों के अनुसार वसुंधरा राजे ने अमित शाह से अलग से चर्चा कर नए अध्यक्ष के मुद्दे पर चर्चा की है और कुछ नाम भी सुझाए हैं। बाद में वसुंधरा राजे ने महासचिव भूपेंद्र यादव व अरुण सिंह से भी मुलाकात की है। अध्यक्ष के मुद्दे पर विवाद होने से राज्य की चुनावी तैयारियां प्रभावित हो रही हैं।
यात्रा को मिली हरी झंडी
सूत्रों के अनुसार कोर ग्रुप की बैठक में केंद्रीय नेतृत्व ने वसुंधरा राजे की अगले माह प्रस्तावित यात्रा को हरी झंडी दे दी है। अमित शाह ने राज्य में हर विधानसभा सीट और हर बूथ की रणनीति बनाने को कहा है।