नई दिल्ली। नेताजी सुभाष चंद्र बोस द्वारा स्थापित की गई आजाद हिन्द फौज के 75 वें स्थापना दिवस के मौके पर देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने लालकिले पर आयोजित भव्य कार्यक्रम में शिरकत किया। इस दौरान उन्होने अपने सम्बोधन में जहां आजाद हिन्द फौज और सुभाष चंद्र के विचार को प्रेरणा का श्रोत बताया , वहीं बिना नाम लिए गांधी परिवार पर जमकर निशाना साधा।
उन्होने कहा कि देश की आजादी के पहले सुभाष बाबू ने देश के निर्माण का जो सपना देखा था। वो सपना भारतीयता में बसा था। जिन लोगों ने सत्ता का सुख पाया उन्होने देश को ब्रिटेन की आखों से देखा और दिखाया। लाखों बलिदान देकर हम स्वराज तक पहुंचे हैं। लाखों लोगों ने बलिदान दिया। लेकिन देश में परिवारवाद के चक्कर में देश के सपूतों को भूल गया।
हमारी सरकार अब देश में सेना के उस परम्परा का निर्माण करने जा रही है। जिसका सपना सुभाष चंद्र बोस ने देखा था। हम सेना को तकनीकि से जोड़ते हुए इसकी ताकत को दोगुना करने जा रहे हैं। सुभाष बाबू ने पूर्वोत्तर भारत के सामरिक महत्व को समझा था। लेकिन आजादी के बाद की सरकारों ने उस तरफ ध्यान ही नहीं किया। हमारी सरकार ने बीते 4 सालों में पूर्वोत्तर के क्षेत्र को देखा और उसके महत्व को समझते हुए वहां विकास के आधारभूत साधनों को विकसित किया है।