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नहीं रहे सुप्रीम कोर्ट के पूर्व जस्टिस पीएन भगवती, PIL के जरिए बनाया था न्यायिक व्यवस्था को सुलभ

pn नहीं रहे सुप्रीम कोर्ट के पूर्व जस्टिस पीएन भगवती, PIL के जरिए बनाया था न्यायिक व्यवस्था को सुलभ

गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट के पूर्व मुख्य न्यायाधीश जस्टिस पीएन भगवती का निधन हो गया। जानकारी के अनुसार जस्टिस पीएम भगवती काफी दिनों से बिमार चल रहे थे। अपने कैरियर में उन्होंने कई सारी उपलब्धि प्राप्त की थी। जस्टिस पीएम भगवती ने पीआईएल (जनहित याचिक) को लागू किया था। सर्वोच्च न्यायालय के पूर्व न्यायाधिश पीएन भगवती का दिल्ली में 95 साल की उम्र में निधन हुआ है। उनका जन्म 12 जुलाई 1986 को हुआ था। भारत सरकार ने पीएन भगवत को साल 2007 में पद्मा भूषण अवॉर्ड से नवाजा था। पीएन भगवत का पूरा नाम प्रफुल्लचंद्र नटवरलाल भगवती था, जिनको देश के जाने-माने वकीलों की श्रेणी में भी पहचाना जाता है।

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पीएन भगवती के निधन के बाद पीएम मोदी समेत कई लोगों ने दुख व्यक्त किया है। अपने ट्वीटर हैंडिल से पीएम मोदी ने पीएन भगवती के निधन पर दुख व्यक्त किया। पीएम मोदी ने ट्वीटर के जरिए 2 पीएन भगवती के निधन पर 2 पोस्ट किए। पीएम मोदी ने ट्वीट कर पीएन भगवती को भारतीय कानून का पक्का समर्थक बताया। पीएम मोदी ने ट्वीट कर कहा कि पूर्व जस्टिस पीएन भगवती ने भारत के कानून व्यवस्था को आम लोगों के लिए सुलभ बनाया है।

वही पीएम मोदी के साथ और भी कई लोगों ने पूर्व जस्टिस के निधन पर शोक व्यक्त किया। जिनमें से एक नाम देश के मौजूदा राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी का भी है। राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने पूर्व जस्टिस के निधन पर ट्वीट कर शोक जताया। आपको बता दें कि पूर्व जस्टिस पीएन भगवती पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के शासनकाल के दौरान आपातकाल में भगवती बंदी प्रत्यक्षीकरण की हिस्सा रहे हैं। अपने विवादित फैसलों के कारण कई बार पीएन भगवती ने सुर्खियां भी बटोरी हैं। पीएन भगवती की 3 बेटियां हैं। ऐसे में उनका अंतिम संस्कार 17 जून को किया जाएगा।

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