प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज 11 बजे अपने रेडियो कार्यक्रम ‘मन की बात’ को संबोधित करेंगे. दूसरी तरफ किसानों के आंदोलन को एक महीने से उपर हो गया है. किसान दिल्ली की सीमाओं पर डटे हुए हैं. कयास लगाए जा रहे हैं कि पीएम किसानों के मुद्दे पर कोई बाच करेंगे या किसानों को कोई संदेश देंगे. आपको बता दें ये 2020 का आखिरी संस्करण है.
आपको बता दें किसान पिछले एक महीने से दिल्ली की सीमाओं पर आंदोलन कर रहे हैं. किसान नए कृषि कानूनों को रद्द करवाने की मांग कर रहे हैं. किसान संगठन और सरकार के बीच कई दौर की बातचीत हो चुकी है, लेकिन कोई हल नहीं निकला है. जहां सरकार कानूनों में संशोधन की बात कर रही है वहीं किसान कृषि कानूनों को निरस्त करवाने पर अड़े हुए है. इसी बीच ये उम्मीद जताई जा रही है कि पीएम किसानों के नाम कोई संदेश दे सकते हैं या सरकार किसानों के आंदोलन को खत्म करवाने के लिये क्या प्रयास कर रही है आगे की क्या रणनीति है इसके बारे में जानकारी दे सकते हैं.
किसान करेंगें ‘मन की बात’ का विरोध
किसानों ने प्रधानमंत्री के ‘मन की बात’ कार्यक्रम के दौरान विरोध जताने का फैसला लिया है. जानकारी के मुताबकि, किसान पीएम की मन की बात का विरोध ताली-थाली बजाकर करेंगे. पहले ही किसान संगठनों की तरफ से मन की बात के दौरान ताली-थाली बजाकर विरोध दर्ज करवाने की बात कही गई थी. शनिवार को आंदोलनकारी किसानों ने बातचीत की सरकार की पेशकश को स्वीकार कर लिया. 40 किसान यूनियनों के मुख्य संगठन संयुक्त किसान मोर्चा की एक बैठक में यह फैसला किया गया.
किसान नेताओं की तरफ से प्रेस कॉन्फ्रेंस कर ये घोषणा की गई थी. सरकार से बातचीत के लिए किसान नेताओं ने 29 दिसंबर को सुबह 11 बजे का समय निर्धारित किया है. ये बातचीत दिल्ली के विज्ञान भवन में होगी. इससे पहले सरकार ने किसानों से बातचीत की अपील करते हुए अपनी पसंद की जगह और समय तय करने को कहा था.