उम्मीद जताई जा रही है कि अगले वर्ष, 2021 की शुरुआत तक कोरोना वायरस की वैक्सीन मरीजों को मिलनी शुरू हो जाएगी. इसी क्रम में पुणे के सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया ने कोरोना वैक्सीन के प्रोडक्शन का काम तेज कर दिया. प्राप्त जानकारी के मुताबिक 28 नवंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कोरोना वैक्सीन रिव्यू के लिए सीरम इंस्टीट्यूट का दौरा करेंगे.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ब्रिटेन की ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी के सहयोग से ब्रिटिश-स्वीडिश दवा कंपनी एस्ट्राजेनेका द्वारा विकसित किए जा रहे ‘कोविजिएल्ड’ वैक्सीन के विकास पर काम की समीक्षा करने के लिए 28 नवंबर को पुणे के सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया (एसआईआई) का दौरा करेंगे.
एसआईआई ने भारत में अपने कोविड-19 वैक्सीन उम्मीदवार ‘कोविएल्ड’ के निर्माण और वितरण के लिए ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय और एस्ट्राजेनेका के साथ भागीदारी की है.
पुणे के डिवीजनल कमिश्नर सौरभ राव ने इस बात की पुष्टि की है कि पीएम मोदी 28 नवंबर को एसआइ के दौरे पर आएंगे.
इस हफ्ते की शुरुआत में ऑक्सफोर्ड-एस्ट्राजेनेका ने कहा था कि उनके द्वारा विकसित किए जा रहे कोरोनावायरस वैक्सीन में 70 फीसदी दक्षता दिखाई गई है. ऑक्सफोर्ड-एस्ट्राजेनेका ने आगे कहा कि यह टीका “एक डोजिंग रेजिमेन” के तहत लगभग 90 प्रतिशत प्रभावी हो सकता है.
ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय द्वारा जारी एक प्रेस नोट में कहा गया है, ‘131 कोविड-19 मामलों सहित चरण 3 अंतरिम विश्लेषण से पता चलता है कि दो डोजिंग रेजिस्टेंस से डेटा के संयोजन के दौरान टीका 70.4% प्रभावी है’
एस्ट्राजेनेका के अलावा, दो अन्य दवा दिग्गजों-Pfitzer और Moderna-देर से चरण के परीक्षणों से प्रारंभिक परिणामों की सूचना दी है कि उनके Covid-19 टीके लगभग 95% प्रभावी थे.