चेन्नई। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने तमिलनाडु के महाबलिपुरम में 2018 का उद्घाटन किया। इस दौरान पीएम मोदी ने सभा को संबोधित करते हुए कहा कि मैं महान चोलों के देश में यहां बहुत खुश हूं, जिन्होने व्यापार और शिक्षा के माध्यम से भारत की ऐतिहासिक सभ्यता के संबंध स्थापित किए। पीएम ने कहा कि शांति को लेकर हमारी प्रतिबद्धता उतनी मजबूत है जितना की हमारी जनता और सीमा की सुरक्षा को लेकर हमारा निश्चय है।
उन्होंने कहा कि रणनीतिक रूप से स्वतंत्र रक्षा उद्योग परिसर की स्थापना करने सहित सशस्त्र सेनाओं को हथियारों से लैस करने के लिए हर कदम उठाने को तैयार हूं। साथ ही उन्होंने कहा कि घरेलू रक्षा उद्योग को बढ़ावा देने के लिए रक्षा खरीद प्रक्रिया में विभिन्न विशेष प्रावधानों को शामिल किया गया है। पीएम मोदी ने कंपनियों को स्वागत करते हुए कहा कि मैं बहुत खुश हूं कि इस बार इस प्रदर्शनी में 500 से अधिक भारतीय कंपनियां भाग ले रहीं है जबकि ढेढ़ सौ से अधिक विदेशी कंपनियां हिस्सा ले रही हैं।
पीएम मोदी ने कहा कि मैं महान चोला साम्राज्य की भूमि में आकर बहुत खुश हूं। यही वह जगह है जहां से भारत ने पूर्व की ओर देखना शुरू किया। इतनी सारी कंपनियों को देख कर मुझे काफी हर्ष है। यह भारत की रक्षा क्षमताओं को दिखाने का मंच है। देश में निर्माण कर दूसरे देशों को बेचने की रक्षा रणनीति पहले किसी भी समय की तुलना में आज सबसे अधिक सुदृढ़ है। उन्होंने कहा कि भारत देशों को जीतने की बजाय, दिल जीतने में यक़ीन रखता है।
उन्होंने कहा कि शान्ति के प्रति हमारा समर्पण वैसा ही है जैसा अपनी सीमाओं की सुरक्षा करने के प्रति है। रक्षा विनिर्माण का क्षेत्र में सरकार की भागीदारी के मामले में यह युग अनूठा है। सरकार इसके लिए लाइसेंस देती है, सुविधाएं देती है. रक्षा उत्पादन के मामले में हमारे नियमन, विधियों और प्रक्रियाओं को उद्योगों के लिये अधिक दोस्ताना बनाया गया है। पीएम मोदी ने कहा कि ऑफसेट गाइडलाइन्स को आसान बनाया गया है. अनेक प्रक्रियाओं को आसान और सरल बनाया गया है. रक्षा अधिग्रहण की प्रक्रिया का भी नवीनीकरण किया गया है।