लखनऊ। लखनऊ फार्मेसिस्ट फेडरेशन ने मुख्य सचिव को पत्र लिखकर प्रदेश में कोविड-19 को देखते हुए बड़े पैमाने पर प्रशिक्षित फार्मेसिस्ट की नियुक्ति करने की मांग की है। फेडरेशन के प्रांतीय अध्यक्ष एवं स्टेट फार्मेसी काउंसिल उत्तर प्रदेश के पूर्व चेयरमैन सुनील यादव ने पत्र लिखकर प्रदेश के मुख्य सचिव से अनुरोध करते हुए कहा है कि वर्तमान समय में पूरा यूपी कोरोना से जूझ रहा है। इससे बचने के लिए और उपचार हेतु मरीजों की खोज, जांच और उपचार (ट्रेसिंग, टेस्टिंग और ट्रीटमेंट) तीनों अत्यंत महत्वपूर्ण हैं।
इस संबंध में फार्मेसिस्ट महासंघ ने सुझाव दिया है कि प्रदेश के उन जनपदों में जहां पर मरीजों की संख्या अत्यंत अधिक हो गई है, वहां बड़े कैंप लगाकर पूरे जनपद के चारों तरफ जगह-जगह टेस्टिंग की व्यवस्था की जाए। यथासंभव आरआरटी (रैपिड रिस्पांस टीम) को और बढ़ाकर संक्रमित मरीजों एवं उनके परिजनों को आवश्यक औषधियां तो उपलब्ध कराने के साथ ही उनसे निरंतर दूरभाष पर संपर्क भी बनाए रखा जाए, जिससे किसी भी अनहोनी से बचा जा सके।
विशेषज्ञों की राय प्राप्त कर जांच की एक और विधि Reverse transcription loop-mediated isothermal amplification (RT-LAMP) जो गुणवत्ता युक्त एवं जल्दी परिणाम देने वाली हो सकती है। इसको प्रयोग में लाया जाए जा सकता है।
सुनील यादव ने कहा कि उपरोक्त सभी कार्यों के लिए बड़े पैमाने पर मानव संसाधन की आवश्यकता होगी। प्रदेश में लगभग 110000 प्रशिक्षित और योग्य फार्मेसिस्ट (डिप्लोमा, बैचलर, मास्टर, डॉक्टर, पीएचडी) पंजीकृत हैं। जिन्हें खुली भर्ती के द्वारा योजित कर उनकी सेवाएं टेस्टिंग ट्रैकिंग और ट्रीटमेंट तीनों में ली जा सकती हैं।
फार्मेसिस्ट को माइक्रोबायोलॉजी के साथ फार्मोकोलॉजी एवं अनेक विषयों का विस्तृत अध्ययन कराया जाता है। प्रदेश के विभिन्न चिकित्सालयों में जहां पर चिकित्सक उपलब्ध नहीं हैं, वहां प्राथमिक उपचार फार्मेसिस्टों द्वारा दिया जा रहा है। फार्मेसिस्ट बड़े चिकित्सालयों में भी आकस्मिक चिकित्सा व्यवस्था में अत्यंत महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं।
उन्होंने कहा कि बड़ी संख्या में प्रशिक्षित फार्मेसिस्टों को सेवायोजित कर उनकी सेवा लिया जाना मानव जीवन के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण होगा और इसके साथ ही खुली भर्ती द्वारा नर्सेज, लैब टेक्नीशियन आदि को भी योजित किया जा सकता है। जिससे महामारी के समय पीड़ित जनता को अच्छी स्वास्थ्य सुविधाएं देकर प्रदेश में जनता को इस महामारी से बचाया जा सकता है। साथ ही उससे होने वाले नुकसान से भी जनता बच सकती है।
संयोजक के के सचान, महामंत्री अशोक कुमार, वरिष्ठ उपाध्यक्ष जे पी नायक, उपाध्यक्ष राजेश सिंह, ओ पी सिंह ने मुख्यमंत्री से अनुरोध किया है कि मानवीय दृष्टिकोण के अनुसार विचार कर फार्मेसिस्टों की बड़े पैमाने पर भर्ती की कार्यवाही की जाए।