नई दिल्ली। केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार के समाज कल्याण मंत्रालय ने सरकारी अधिकारियों द्वारा अपने व्यक्तिगत इस्तेमाल के लिए सरकारी गाड़ियों के इस्तेमाल पर रोक लगा दी है। बता दें कि सरकार ने सभी नौकरशाहों पर लगाम कसने के लिए ये निर्देश दिया है। सरकार ने आदेश दिया है कि अधिकारी हर महीने लिखित में ये शपथ पत्र दें कि गाड़ियों का इस्तेमाल सिर्फ सरकारी काम के लिए किया गया है। ये फैसला सरकार ने तब लिया है जब जांच में ये पाया कि समाज क्लयाण विभाग के कुछ अधिकारी घर से कार्यालय और कार्यालय से घर जाने के लिए सरकारी वाहन का इस्तेमाल कर रहे थे। यहीं नहीं अधिकारी परिवहन भत्ता का दावा भी कर रहे थे।
अधिकारी ने कहा कि सभी अधिकारियों को ये लिखित में हर महीने की 20 तारिख तक लेटर संबधित विभाग को देना होगा। समाज कल्याण विभाग ने एक आदेश में कहा है कि ये निर्देश दिया जाता है कि सभी अधिकारी जो सरकारी गाड़ी का इस्तेमाल करते हैं उन्हें निश्चित रूप से हर महीने की 20 तारीख तक यह अंडरटेकिंग देनी होगी कि आधिकारिक गाड़ी का इस्तेमाल सिर्फ सरकारी काम के लिए किया गया न कि घर से दफ्तर और दफ्तर से घर आने के लिए। नियमों के मुताबिक स्टाफ कार की सुविधा लेने वाले अधिकारी सरकारी गाड़ी का इस्तेमाल अपने व्यक्तिगत उद्देश्यों के लिए नहीं कर सकते। अधिकारी ने कहा कि इस अंडरटेकिंग से यह सुनिश्चित होगा कि अधिकारी सरकारी वाहनों का इस्तेमाल घर से दफ्तर और दफ्तर से घर आने-जाने के लिये न करें.