नई दिल्ली। सुर्खियों में रहे निठारी कांड के मुख्य आरोपी सुरेंद्र कोहली को कोर्ट ने नंदा देवी मर्डर केस में सजा ए मौत का ऐलान किया है। नर पिशाच के नाम से जाने जाने वाले सुरेंद्र कोहली के खिलाफ इस समय 16 मामले चल रहें हैं जिनमें से छठें मामले में सीबीआई कोर्ट ने कोहली को फांसी की सजा सुनाई है। बता दें कि सुरेंद्र कोहली के ऊपर बलात्कार,अपहरण, हत्या के अलग-अलग मामले दर्ज है जिनमें से संबंधित 5 मामलों में उसे फांसी और आजीवन कारावास की सजा सुनाई जा चुकी है।
इस मामले की सुनवाई करते हुए सीबीआई के जज पवन तिवारी ने उसे मालिक मनिंदर सिंह पंधेर के घर पर काम करने वाली नंदा देवी की हत्या का दोषी करार करते हुए आईपीसी की धारा 302, 365, 511, 201 के तहत फांसी की सजा सुनाई है। सुरेंद्र पर नंदा का अपहरण, हत्या, रेप करने और सबूत नष्ट करने का आरोप है। बता दें कि नंदा साल 31 अक्टूबर 2006 को लापता हो गई थी।
गौरतलब है कि सीबीआई कोर्ट ने साल 2014 में ही सुरेंद्र कोली को निठारी कांड में दोषी करार देते हुए फांसी की सजा दी गई थी। उस वक्त कोली को मेरठ जेल में 12 सितंबर 2014 को फांसी दी जानी थी, लेकिन देश की शीर्ष अदालत ने उसकी फांसी पर रोक लगा दी थी। सुरेंद्र कोहली उत्तराखंड के अल्मोड़ा का रहने वाला है और साल 2003 में नोएडा आया और मनिंदर सिंह पंधेर के घर काम करने लगा। जिसके बाद लगातार बच्चों के गायब होने की शिकायत पुलिस में दर्ज की जाने लगी जिसके बाद नोएडा पुलिस ने साल 2006 ने सिलसिरलेवार हो रहे हत्याकांड का खुलासा किया।
पुलिस के द्वारा किए गए नारको टेस्ट में सुरेंद्र कोहली ने काफी चौंका देने वाली बात का खुलासा करते हुए बताया था कि वो शाम होते ही आने -जाने वाली लड़कियों को पकड़ लेता था और रेप करने के बाद उनकी हत्या कर दिया करता था। इसके अलावा उसने टेस्ट में शव के टुकड़े को खाने और दफनाने की बात भी कबूली थी।