नई दिल्ली : सीबीआई के डायरेक्टर आलोक वर्मा और स्पेशल डायरेक्टर राकेश अस्थाना के बीच के विवाद को लेकर सियासत गरमा गई है। विपक्ष को सीबीआई के बहाने मोदी सरकार को घेरने का नया मौका मिल गया है।
मल्लिकार्जुन खड़गे ने दायर की याचिका
वहीं, इसी बीच कांग्रेस नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने सीबीआई निदेशक को छुट्टी पर भेजे जाने के केंद्र के फैसले पर उच्चतम न्यायालय का दरवाजा खटखटाया। लोकसभा में कांग्रेस के नेता खड़गे ने अपनी याचिका में कहा कि अधिनियम के मुताबिक, सीबीआई निदेशक की नियुक्ति या उसे हटाने के बारे में नेता प्रतिपक्ष, प्रधानमंत्री और प्रधान न्यायाधीश की तीन सदस्यीय समिति को ही अधिकार है।
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उन्होंने कहा कि केंद्रीय सतर्कता आयोग (सीवीसी) के पास सीबीआई निदेशक के खिलाफ कार्रवाई का कोई अधिकार नहीं है। ड़गे ने इस संबंध में सर्वोच्च न्यायालय में याचिका दायर करने की पुष्टि करते हुए बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा स्वत: संज्ञान लेते हुए सीबीआई निदेशक आलोक वर्मा को छुट्टी पर भेजे जाने की कार्रवाई अवैध है और यह सीबीआई अधिनियम का उल्लंघन भी है।
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पार्टी सूत्रों ने कहा कि कांग्रेस ने खड़गे से कहा था कि वह इस संबंध में याचिका दायर करें। खड़गे सीबीआई निदेशक की नियुक्ति करने वाली समिति के सदस्य भी हैं।