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भर्ती और पेंशन बहाली समेत कई मुद्दों को लेकर सौंपा ज्ञापन

WhatsApp Image 2021 08 25 at 2.04.57 PM भर्ती और पेंशन बहाली समेत कई मुद्दों को लेकर सौंपा ज्ञापन

लखनऊ। सभी विभागों में चतुर्थ श्रेणी यानि समूह घ पदों को नियमित सीधी भर्ती से भरे जाने, भर्तियों पर लगे प्रतिबंध को हटाने और खाली पड़े पदों को अभियान चलाकर भरे जाने, पुरानी पेंशन व्यवस्था को बहाल करने और आउटसोर्सिंग के माध्यम से की जाने वाली भर्तियों पर रोक लगाने समेत कई मांगों को लेकर उत्तर प्रदेश चतुर्थ श्रेणी राज्य कर्मचारी महासंघ ने पीएम, सीएम समेत जनप्रतिनिधियों को संबोधित ज्ञापन दिया है।

महासंघ के प्रदेश अध्यक्ष रामराज दुबे ने बताया कि सभी विभागों में समूह घ के पदों को सीधी भर्ती के जरिए भरे जाने चाहिए। इसके अलावा बड़ी संख्या में बेरोजगारों की फौज तैयार हो रही है। इन युवाओं के दर्द को समझते हुए सभी खाली पदों को भरा जाए। उन्होंने कहा कि पुरानी पेंशन की व्यवस्था को खत्म कर दिया गया है। नई पेंशन नीति के तहत कर्मचारियों का नुकसान हो रहा है। पेंशन ही बुढ़ापे की लाठी है, लेकिन सरकार ने इसे भी छिन लिया है। सरकार को इसे तत्काल बहाल किया जाए।

प्रदेश महामंत्री सुरेश सिंह यादव ने मांग करते हुए कहा कि चतुर्थ श्रेणी के पदों पर जैम पोर्टल और आऊटसोर्सिंग के माध्यम से की जा रही नियुक्तियां तत्काल बन्द की जाय। जैम पोर्टल, आऊटसोर्सिंग और संविदा के माध्यम से अब तक रखे गये कर्मचारियों को निजी कम्पनियों/ठेकेदारों व जैम पोर्टल से भुगतान न कराकर सीधे विभागों द्वारा भुगतान कराया जाय। जैम पोर्टल, आऊटसोर्सिंग व संविदा पर रखे गये कर्मचारियों को नियमित राज्य कर्मचारी घोषित किया जाय। साथ ही तब तक न्यूनतम पारिश्रमिक 21000 रुपये प्रतिमाह दिये जाने की भी मांग की गई।

सुरेश सिंह यादव ने कहा कि दैनिक वेतन-वर्कचार्ज से नियमित किए गये कर्मचारियों को उनकी पुरानीइ सेवा को जोड़ते हुए पुरानी पेंशन की ग्रेच्युटी दी जाए। साथ ही वेतन संरक्षण का भी लाभ दिया जाए। विभागों में 31 दिसम्बर 2001 के बाद बचे हुए दैनिक वेतनभोगी-वर्कचार्ज (कार्य प्रभारित) कर्मचारियों का विनियमितीकरण किया जाय। मंहगाई भत्ते और अन्य भत्तों पर लगी रोक को हटाने के साथ ही एरियर सहित भुगतान किया जाए। इसके अलावा समाप्त किये गये सभी भत्तों को बहाल करने की मांग की गई।

उन्होंने कहा कि केन्द्र सरकार के चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों की भांति सभी प्रकार के भत्ते राज्य कर्मचारियों को भी दिया जाय। प्रदेश महामंत्री सुरेश सिंह यादव ने कहा कि इन छह सूत्रीय मांगों पर शीघ्र निर्णय नहीं लिया गया तो महासंघ की विस्तारित बैठक बुलाकर निर्णायक आन्दोलन की घोषणा की जायेगी, जिसकी जिम्मेदारी सरकार की होगी।

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