नई दिल्ली। नए साल की शुरुआत होते ही भारत ने एक नहीं बल्कि एक साथ दो-दो वैक्सीन लाॅन्च करके खुद को दुनिया के सामने साबित कर दिया। वैक्सीन तो आ गई है लेकिन जनता के मन में वैक्सीन को लेकर कुछ सवाल और धारणएं हैं। वैक्सीन का टीका कितना असरदार होगा, जो लोग संक्रमित थे क्या कोरोना का टीका सिर्फ उन्हीं लोगो को लगेगा या सबको लगेगा, सबको लगेगा तो बच्चों को भी लगेगा क्या। ऐसे ढेर सारे सवाल लोगों के मन में है। आइये जानते हैं वैक्सीन से जुड़े कुछ नियम।
आपको बता दें कि रविवार को भारत बायाटेक की वैक्सीन कोवैक्सीन के इमरजेंसी इस्तेमाल को ड्रग्स कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया डीसीजीआई ने मंजूरी दे दी है। अब देश में कोविड टीकाकरण अभियान शुरू होने वाला है। वहीं दूसरी तरफ कोवैक्सीन अब 12 साल से ऊपर के बच्चों पर परीक्षण की अनुमति भी मिल गई है। जबकि सीरम इंस्टीट्यूट की कोविशील्ड को 18 साल से अधिक उम्र वालों को ही दी जाएगी।
30 करोड़ लोगों में बच्चे शामिल नहीं-
भारत बायोटेक ने दूसरे चरण में 12.18 साल के बच्चों पर भी वैक्सीन का ट्रायल किया था। इसके आधार पर डीसीजीआई ने क्लिनिकल ट्रायल मोड में आपातकालीन हालत में वैक्सीन के सीमित इस्तेमाल की मंजूरी दी है और इसमें 12 वर्ष या इससे ऊपर के बच्चे भी शामिल हैं। हालांकि अभी सरकार की प्राथमिकता जिन 30 करोड़ लोगों को वैक्सीन देने की है, उनमें बच्चे शामिल नहीं हैं।
कोविशील्ड 18 से अधिक उम्र वालों को ही लगेगी कोविशील्ड-
भारत सरकार ने अभी तक जिन दो वैक्सीन को मंजूरी दी है। उनमें सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया द्वारा बनाई गई कोविशील्ड है, जिसे प्राथमिकता दी गई है और अब इसे 18 वर्ष से अधिक उम्र वाले लोगों को दिया जाएगा। जबकि हैदराबाद की भारत बायोटेक द्वारा बनाई गई स्वदेशी कोवैक्सीन को 12 साल से अधिक उम्र तक के लोगों को दिया जा सकता है।