पणजी। भारते के पश्चिमी राज्य गोवा में भारत और फ्रांस ने संयुक्त नौसैन्य अभ्यास वरुण-18 गोवा के अरब सागर तट पर सोमवार से शुरू हो गया है। इस युद्धाभ्यास में फ्रांसीसी नौसेना के एंटी-सबमरीन पोत जिन डी वियने और भारतीय नौसेना के आईएनएस मुंबई और आईएनएस त्रिखंड जंगी पोत इस सैन्य अभ्यास का पहली बार हिस्सा बने। इसके अलावा भारतीय पनडुब्बी कलवारी, पी8-1, समुद्री सीमाओं पर गश्त करने वाले एयरक्राफ्ट डोर्नियर और फाइटर एयरक्राफ्ट एमआइजी 29-के को भी शामिल किया गया है।
ये सैन्य अभ्यास तीन चरणों में किया जाना है। गोवा में शुरू हुआ पहला चरण 24 मार्च को खत्म होगा। दूसरा चरण अप्रैल में चेन्नई तट और तीसरा चरण हिंद महासागर में फ्रांसीसी द्वीप ला रियूनियन पर मई में आयोजित किया जाएगा। सेना के अधिकारियों का कहना है, ‘दोनों देश कई मोर्चो पर समान वैश्विक खतरों का सामना कर रहे हैं। इस अभ्यास से दोनों देशों की नौसेना के बीच परस्पर सहयोग बढ़ेगा।
भारत की ओर से अभ्यास का नेतृत्व कर रहे रियर एडमिरल एमए हामपिहोलि ने कहा कि वरुण-18 नौसैन्य अभ्यास का जिक्र प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों ने बीते 10 मार्च को अपने संयुक्त बयान में भी किया था।’ फ्रांसीसी नौसेना का नेतृत्व कर रहे रियर एडमिरल डिडिएर पिटोन ने कहा कि हिंद महासागर क्षेत्र में भारत, फ्रांस का प्रमुख सहयोगी रहा है।