पिछले कुछ दिनों से जम्मू में हालात ठीक नहीं चल रहें है। कुछ दिन पहले भी ड्रोन द्वारा हमला किया गया था। लेकिन अभी भी चीजें थमने का नाम नहीं ले रही हैं।
बुधवार को सुबह-सुबह जम्मू के कालूचक और कुंजवनी में 2 ड्रोने देखे जाने की बात सामने आई है। इसे लेकर सुरक्षाबल सतर्क हैं। हालांकि अभी इस घटना के संबंध में पूरी जानकारी नहीं मिल पाई है।
इससे पहले सोमवार को सेना के जवानों ने रत्नुचक-कालूचक स्टेशन के ऊपर उड़ रहे दो ड्रोन पर गोलीबारी की थी। जो बाद में लापता हो गए थे। अफसरों के मुताबिक एक ड्रोन रविवार देर रात पौने 12 बजे और दूसरा ड्रोन 2 बजकर 40 मिनट पर देखा गया था। सैनिकों के गोलियां चलाने के बाद वे वहां से उड़ गए। साल 2002 में यहां आतंकवादी हमला हुआ था। जिसमें 10 बच्चों समेत 31 लोगों की मौत हुई थी।
वहीं जम्मू हवाई अड्डा परिसर में स्थित वायुसेना स्टेशन पर हुए ड्रोन हमले की जांच मंगलवार को राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण ने संभाल ली है। भारतीय वायुसेना स्टेशन पर रविवार सुबह हुए अपनी तरह के ऐसे पहले आतंकवादी हमले की जांच एनआईए को सौंपने का फैसला गृह मंत्रालय ने किया है। गृह मंत्रालय के आदेश के अनुरूप एनआईए ने कहा कि उसने 27 जून की तारीख में सतवारी थाने में पुन मामला पंजीकृत किया है।
मिली जानकारी के अनुसार जम्मू के वायु सेना केंद्र, सतवारी परिसर के अंदर एक विस्फोट तथा उसके करीब छह मिनट बाद एक और विस्फोट होने से संबंधित है।