लखनऊ: उत्तर प्रदेश में बीजेपी की राजनीति इन दिनों आत्ममंथन से गुजर रही है। पहले पार्टी के संगठन महासचिव बीएल संतोष लखनऊ में मौजूद रहे, इसके बाद यूपी प्रभारी राधा मोहन सिंह ने मंथन किया। भाजपा विधायकों को आने वाले चुनाव में टिकट किस आधार पर मिलेगा, यह भी दिलचस्प होगा।
बूथ कमेटियां करेंगे विधायकों का फैसला
यूपी के विधानसभा चुनाव अब ज्यादा दूर नहीं हैं। इसके लिए तैयारियां शुरू हो गए हैं। भाजपा विधायकों में कई ऐसे चेहरे हैं, जिनका काम अच्छा नहीं रहा। जमीन पर उनकी पकड़ भी ढीली हो रही है। ऐसे में इन चेहरों को पार्टी बाहर का रास्ता दिखा सकती है। हालांकि किसको टिकट मिलेगा और किसे इस बार मौके से हाथ धोना पड़ेगा, यह निर्णय बूथ कमेटियों की रिपोर्ट के आधार पर होगा। इसके लिए पैमाना भी तैयार किया गया है। जिसके आधार पर सभी कमेटियां अपना समर्थन देंगी, फिर टिकट का निर्धारण भाजपा की तरफ से किया जाएगा।
एक एक सीट पर होगा सर्वे
आने वाले यूपी विधानसभा चुनाव को देखते हुए भारतीय जनता पार्टी सभी विधानसभा सीटों पर सर्वे करवायेगी। जिसमें विधायकों का रिपोर्ट कार्ड तैयार होगा। स्थानीय नए चेहरों पर भी दांव खेला जा सकता है। ऐसे में यह सर्वे पर टिकट निर्धारण की महत्वपूर्ण कड़ी हो सकता है। इन सबके अतिरिक्त बूथ कमेटियों काफी योगदान देखा जाएगा। जिन विधायक से यह कमेटियां संतुष्ट नहीं होंगी, उनका टिकट पटना लगभग तय माना जाएगा।
दरअसल ग्राउंड जीरो पर यह सभी बूथ कमेटियां एक्टिव होती हैं, जिन्हें जमीनी सच्चाई का अंदाजा होता है। ऐसे में भाजपा इसी पैमाने को टिकट वितरण के लिए इस्तेमाल कर रही है। मौजूदा विधायक के अलावा अन्य विकल्प कौन-कौन से हैं, इसके लिए भी कमेटी की मदद ली जाएगी। भाजपा की तरफ से आने वाले चुनाव के लिए सारी तैयारियां कर ली गई हैं।
इसके पहले राधा मोहन सिंह ने कहा कि उत्तर प्रदेश के आगामी विधानसभा चुनाव में भाजपा योगी आदित्यनाथ के चेहरे पर ही मैदान में उतरेगी। पार्टी में चल रही अटकलों पर भी उन्होंने विराम लगाया। राधा मोहन सिंह ने कहा कि अभी संगठन में सब कुछ सही है। उत्तर प्रदेश सरकार का कामकाज भी काफी बेहतर है।